प्रेषक : प्रशांत
हाय दोस्तों मेरा नाम मानसी है मै 19 साल की स्लिम लुक्स वाली लड़की हूँ मुझे पोर्न देखना बेहद पसंद है मेरा रंग थोड़ा ज्यादा हि गोरा है। मेरा फिगर 30-28-30 हे। मैं कॉलेज गर्ल हुँ। और दिखने मे बहुत सुंदर यहाँ तक कि मेरी गर्लस कॉलेज कि लड़कीयाँ मुझे आईशा टाकीया कहती हैं। कल रात तक मैंने कभी सेक्स नहीं किया था पर मन में बोन्डेज सेक्स(बंधन सेक्स) कि ईच्छा थी।
पापा मम्मी कल दोपहर तक आने वाले थे। मेरे टयुसन सर कमल 8:00 बजे घर पर आए मैंने तब सेक्सी ड्रेस पहन रखी थी। वाईट शर्ट और रेड चेक्स मिनी स्कर्ट। सर ने पहले कभी मुझे
ऐसे नहीं देखा था।मेरी चिकनी गोरी जांघों से सर कि नज़र नहीं हट रही थी। हमने पडना चालू किया तभी सर ने पानी मांगा मै पानी लेने गयी सर ने मेरा सेल देखा जिसमें बहुत सारी ब्लू फिल्म थी।मुझसे पुछा ये क्या है मै इसकी शिकायत तेरे डैडी से करूंगा। में बहुत डर गयी पर मन ही मन मे सेक्स करना चाहती थी।मैंने कहा सर आप कुछ भी कर लिजिये पर डेडी से मत कहना।लगा सर भी यही सुनना चाहते थे।
सर ने कहा ठीक हैं पर जैसा मैं बोलुंगा वैसा ही करना नहीं तो मै समझ गयी आप मुझे अपना गुलाम समझे
मैंने कभी पहले सेक्स नहीं किया था। इसलिये डर के मारे दिल धड़क रहा था। मैं खड़ी थी सर ने पहले जांघों पर किस किया मै बहुत ज्यादा सेन्सटिव हूँ मुझे जोर कि गुदगुदि हुई सर समझ गये ये मेरा पहली बार है। सर मुझे बेडरूम ले गये और कहा अपनी शर्ट ऊतारो पर बहुत धीरे-धीरे। मैं अपनी शर्ट शर्माते हुए धीरे-धीरे उतार कर रुक गयी सर
मेरे पिछे आकर गर्दन पर किस किया और बोले मै तुम्हें पुरा नंगा करूंगा पर धीरे-धीरे ये सुनते हि मेरे रोंगटे खड़े हो गये फिर दोनों हाथ उपर कर मेरी कमिज उतार दी। आप यह कहानी मस्ताराम.नेट पर पढ़ रहे है
अब मेरे बोब्स सिर्फ ब्रा से ढके थे जो डार्क लाल थी मैंने अपने दोनों हाथों से छाती ढक रखी थी और नीचे स्कर्ट बची थी। फिर सर ने मेरे गालों को किस किया फिर होठों को फिर गर्दन को फिर मेरे दोनों हाथ हटा कर मेरे बोब्स को ऊपर से किस करने लगे। में थोड़ी अनकम्फर्ट होने लगी मैंने रोक कर कहा सर सहन नहीं हो रहा है आप मुझे बांध कर जो करना है वो करो मैं आपको रोकुँगी नहीं क्योंकि मैं बहुत सेनसिटिव हूँ।
सर ने तुरंत वहीं किया अलमारी से पापा कि चार टाई निकाली मेरे दोनों हाथ बेड के ग्रिल से बांध दिए और पेर भी चोडे कर पलंग से बांध दिए बेडरूम कि सारी लाइट जला दि जिससे मेरा गोरा रंग और ज्यादा उत्तेजित करे सर फ्रीज से सिल्क चोकलेट ले आए।और कैची भी मेरी स्कर्ट उंची कर पेंटी काट कर अलग कर दि मैंने सुबह ही हेयर रिमुव किए थे।जिससे मेरी सफेद गोरी चिकनी चुत देखकर सर के मुह मे पानी आ गया अब वो मेरी ब्रा काटने लगे मैंने कहा प्लिज मुझे पुरी नंगी मत करो।सर बोले मज़ा तो तब आयेगा जब मे तुम्हारा गोरा नंगा बदन देखुंगा और फिर सर ने ब्रा और स्कर्ट केची से काट दिए और मुझे पुरा नंगा कर दिया।
मै कभी पहले किसी के सामने पुरी नंगी नहीं हुई थी मुझे बहुत शर्म आ रही थी पर मेरे हाथ बंधे थे।
सर ने भी अपने सारे कपड़े उतार दिए। आप यह कहानी मस्ताराम.नेट पर पढ़ रहे है
सर मेरे निपल को चूसते रहे मै रोक नहीं पाई अगर हाथ खुले होते तो मे ये करने से रोक देती और इस गुदगुदाती मस्ती का मज़ा नहीं ले पाती। मेरे मुह से सिस्किया निकल रही थी। सर ने धीरे से निपल पर काटा भारी उत्तेजना और मिठे दर्द से निकला, “ओ मम्मी नहीं “ये सुन कर कमल सर का पहले से खड़ा लंड और उत्तेजित हो गया वो पुरे बदन पर चॉकलेट से मल कर चाटने लगे।मैं उपरी मन से मना करती रही।
वो चाटते हुए नीचे गये और नाभि को किस करने लगे। मुझे लगा कहीं ये मेरी चुत को किस ना कर ले क्योंकि वो हिस्सा बेहद सेनसेटिव था।
सर ने मेरी जांघों पर किस करना चालू किया तो मेरी हालत खराब हो गयी मैं अपने पाव समेटना चाहती थी पर सर ने मेरे दोनों पाव बेहद कस कर बांधे थे। मे केवल छटपटाती रह गयी।
मुझे लगा मेरा निर्णय सही था। अगर मे खुलीं होती तो ये सब नहीं करने देती और ये मज़ा मन मे हीं रह जाता।
और लास्ट मै मेरी चुत कि बारी आई।। रहा था। कमल सर ने अपना सिर दोनों जांघों के बीच रख कर दोनों हाथों से जांघों को कस कर जकड लिया ताकि मे हिल ना सकु ओर सिधे हि अपनी लंबी जुबान चुत मे बहुत अंदर तक डाल दी बहुत गुदगुदि हो रही थी पर मेरे हाथ पैर पलंग से बंधे थे और सर ने भी काफ़ी जोर से जकड रखा था मे बस मना करती रही और शरीर मे करंट दोडता रहा मेरी गुदगुदाती छटपटाहट से सर और ज्यादा उत्तेजित हो रहे थे। इसमें इतना मज़ा आ रहा था कि बस । आप यह कहानी मस्ताराम.नेट पर पढ़ रहे है
सर ने चुत को खोल कर हल्का सा काट कर चाटा मुझे फिर से वहीं मज़ा आया मैंने सर से एक बार और काटने कि रिक्वेस्ट करी जिसे सर ने तीन बार पुरा किया बहुत कोशिशों के बावजूद मैं खुद को रोक नहीं पाई ओर झड़ गयी। उसी वक्त मेरा पुरा पानी चुत मै बह गया सर ने अपना 5 ईंच का लंड मुह मै दे दिया और 5 मिनट तक चुसाते रहे। फिर सर ने गिली चुत लंड डालकर धक्का दिया मेरी सिल टुटी और चिख निकल गयी।मिठा दर्द होने लगा चुत से छप छप कि आवाज हो रही थी क्योंकि चुत पानी से भरें कुएँ के समान हो गयी थी 15 मिनट तक चोदने के बाद मुझे लगा सर अब हट जायेगें पर वो तो रूक रूक कर फुल स्पीड मे झटके दिए जा रहे थे ऐसा लग रहा था जबतक चुत फटेगी नहीं सर रुकेंगे नहीं 45 मिनट बाद सर ने मेरे बोबस पर रस ढोल दियाऔर मुझे आजाद कर दिया।
फिर हम दोनों बाथरूम गये जहां हम दोनों एक साथ नंगे नहाए मुझे गीला हि गोद मे ऊठा कर डायनिंग टेबल पर ले जाकर लेटा दिया और मेरी चुत चाटने लगे पुरा नंगा गीला गोरा बदन वापस गर्म हो गया सर दोनों हाथों से बूब्स दबा रहे थे और मुह मेरी चुत पर लगा पड़ा था मैंने चुत को उपर उठा कर पुरा मज़ा लिया सर ने मुझे घोड़ी बना कर घांड के छेद पर मक्खन लगा कर घांड मे एक झटके से पुरा लंड घुसा दिया दर्द के मारे चिख निकलती रही मज़ा आता रहा पुरी रात चुदती रही। अब में कमल सर से जब भी मौका मिलेगा अपनी चुत कि प्यास मिटाऊंगी।
आगे कि कहानी के लिये आपके सुझाव भेंजे।