गर्लफ्रेंड – | hindisexstories.autocamper-service.ru //hindisexstories.autocamper-service.ru 100% Free Hindi Sex Stories - Sex Kahaniyan Tue, 20 Feb 2018 13:48:23 +0000 en-US hourly 1 /> //hindisexstories.autocamper-service.ru/youjizzmobileporn/wp-content/uploads/2015/10/cropped-mastaram-dot-net-logo-red-32x32.png गर्लफ्रेंड – | hindisexstories.autocamper-service.ru //hindisexstories.autocamper-service.ru 32 32 कुवारी चुत की अचानक से हुई चुदाई | hindisexstories.autocamper-service.ru //hindisexstories.autocamper-service.ru/youjizzmobileporn/teen-girls/kuwari-chut-ki-achanak-se-hui-chudai.html //hindisexstories.autocamper-service.ru/youjizzmobileporn/teen-girls/kuwari-chut-ki-achanak-se-hui-chudai.html#respond Thu, 11 Jan 2018 14:19:11 +0000 //hindisexstories.autocamper-service.ru/youjizzmobileporn/?p=11631 कुवारी चुत की अचानक से हुई चुदाई, मैंने अपनी लाइफ में दो कुवारी चुत की सिल तोड़ चूका हूँ लेकिन मेरी पहली चुदाई जो की मेरी क्लासमेट के साथ हुए जिसे करने में मुझे अलग ही मजा आया चुत की सील तोड़कर मैंने उसे खून से रंग दिया

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दोस्तो, आप सभी की तरह मै भी मस्ताराम डॉट नेट का फेन हूँ इस साईट की कहानिया पढ़ मैंने बहुत मुठ मारी हैं इस साईट की सभी कहानिया मैं लगभग पढ़ चूका हूँ और आज मैं आप सभी को अपनी भी कुछ ऐसी ही कहानी सुनने जा रहा हूँ. मेरा नाम नमन है और यह मस्ताराम.नेट साईट पर मेरी पहली सेक्स स्टोरी है. दोस्तो मैं आपको आज मेरी लाइफ की एक ऐसी घटना के बारे में बताने जा रहा हूँ, जिसने मेरी ज़िंदगी को बिल्कुल बदल कर रख दिया. लेकिन उससे पहले मैं आपको मेरे बारे में बता दूँ. मेरी लंबाई 5 फुट 8 इंच है, मेरे लंड का साइज़ 6.7 इंच है और इसकी मोटाई ढाई इंच है. मैं उत्तराखंड का हूँ लेकिन हमेशा से मुंबई जैसे शहर में रहा हूँ.

ये बात आज से कुछ महीने ही पहले की बात है, मैं बी.टेक के 3rd इयर में हूँ. मेरे साथ पल्लवी नाम की एक लड़की पढ़ती थी, जो बहुत ही सिंपल लेकिन सेक्सी थी. वो बहुत ही गोरी, आँखें एकदम काली, गोल और बड़ी आँखें, गालों पर टमाटर जैसी लाली दिखाई देती थी. वो भी बिना मेकअप के. उसका फिगर 38-30-36 का था और कॉलेज के सभी लड़के उसे पटाने के लिए दिन रात मेहनत करते थे लेकी वह किसी को भाव नहीं देती थी.

उस टाइम मैं बिल्कुल सिंपल दिखने वाला और बिल्कुल शरीफ लड़का था और लड़कियों के बारे में कोई गंदी सोच नहीं रखता था. वो लड़की भी बिल्कुल सिंपल रहती थी और हमेशा सूट के साथ चूड़ीदार पजामी या फिर पटियाला सलवार ही पहन कर आती थी.

 एक दिन वो स्कूटी से कॉलेज आ रही थी. अचानक रास्ते में उसकी स्कूटी स्लिप हो गई और वो गिर गई. जहाँ वो गिरी थी, वहीं पर मैं एक शॉप पर कुछ नोट्स की फोटो कॉपी करा रहा था. मैंने दौड़ कर बाहर आकर पल्लवी को संभाला, उसे उठाया तो मैंने देखा कि उसके सारे कपड़े मिट्टी और कीचड़ में खराब हो गए थे. उसको हाथ में कोहनी पे थोड़ी सी चोट लग गई थी, जिससे उसको अपना हाथ हिलाने में भी प्राब्लम हो रही थी.

मैंने उससे पूछा- तुम ठीक तो हो ना?
उसने कहा- ओह.. मेरे हाथ में बहुत दर्द हो रहा है और मेरे कपड़े भी खराब हो गए हैं.
मैंने बोला- पल्लवी तुम ऐसा करो, मेरा रूम पास में ही है, तुम वहाँ चलो. मैं तुम्हारे हाथ पर दवाई लगा दूँगा और तुम अपने कपड़े भी ठीक कर लेना.
पहले तो पल्लवी कुछ सोचने लगी, फिर उसने कहा- ओ के, चलो!

मैं उसे उसकी ही स्कूटी पर बैठा कर अपने रूम पर ले आया, रूम पर आते ही मैंने पल्लवी के हाथ पर दवाई लगा दी और उससे बोला कि तुम बाथरूम में जाकर अपने कपड़े साफ कर लो. पल्लवी ने उस टाइम ब्लैक शर्ट और रेड कलर की चूड़ीदार पजामी पहनी हुई थी और दुपट्टा था. उसके कपड़े सारे कीचड़ में सने हुए थे.

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मैंने पल्लवी को एक तौलिया दिया और वो बाथरूम में चली गई. थोड़ी देर बाद पल्लवी ने मुझे बाथरूम में से आवाज़ दी और बोली- नमन प्लीज़ यहाँ आओ.
मैंने दरवाजे के बाहर से बोला- हाँ पल्लवी बोलो.. क्या हुआ?
पल्लवी बोली- नमन, मेरे हाथ में बहुत दर्द हो रहा है, मुझ से मेरे कपड़े साफ नहीं हो पा रहे हैं.. तो क्या तुम मेरी हेल्प करोगे?
मैंने कहा कि तुम अपने कपड़े उतार कर बाथरूम में रख दो. मैं उनको वॉश कर दूँगा और तुम थोड़ी देर मेरा कुर्ता पजामा पहन लो, मैं लाकर देता हूँ.
पल्लवी बोली कि मैं अपने कपड़े नहीं उतार सकती क्योंकि मेरे हाथ में बहुत दर्द है, तुम प्लीज़ अन्दर आकर मेरे कपड़े पहने पहने ही साफ कर दो.

मैं उसकी रिक्वेस्ट पर बाथरूम में अन्दर चला गया. मैंने पल्लवी के हाथ को तौलिया से पोंछना शुरू किया और जब हाथ के बाजू को साफ करने लगा तो सूट की बाजू पर लगा कीचड़ तौलिया से साफ नहीं हो रहा था. तो मैंने कहा कि ये कपड़े पानी में भिगोने पड़ेंगे, तभी इसका कीचड़ साफ हो सकेगा.

मैंने शावर ऑन किया लेकिन शावर में पानी नहीं आया, शायद टंकी खाली हो गई थी. मेरे नहाने का बाथटब पानी से फुल भरा हुआ था तो मैंने कहा कि लो पल्लवी तुम ऐसा करो, इस टब में बैठ जाओ ताकि तुम पानी में भीग जाओ और तुम्हारे साथ ये कपड़े भी भीग जाएँगे. फिर बाद मैं तुम मेरा कुरता पजामा पहन लेना.

तो पल्लवी ने वैसा ही किया और वो टब में बैठ गई. मैंने पानी में ही अपना हाथ पल्लवी के कपड़ों पर फेरना शुरू किया. उसके कपड़ों की मिट्टी और कीचड़ को साफ करने के लिए मैं धीरे धीरे अपने हाथ उसकी पीठ पर रगड़ने लगा.

शायद पल्लवी को मजा आने लगा था क्योंकि उसकी आँखें बंद होने लगी थीं. धीरे धीरे मेरा हाथ उसकी चूचियों पर गया और चूचियों पर जैसे ही मेरा हाथ टच हुआ, उसको ना जाने क्या हुआ वो अचानक तेज़ी से पलट गई और उसके पलटने की वजह से मैं अपना बैलेंस नहीं बना सका.. और मैं भी पानी से भरे टब में गिर गया.

पल्लवी ने देखा तो वो बोली- ओह आई एक सॉरी नमन.. वो क्या हुआ कि जैसे तुमने मेरे यहाँ हाथ लगाया तो मुझे गुदगुदी हुई और मैं घूम गई.
मैंने कहा- कोई बात नहीं.

मैं फिर से उस की बॉडी पर हाथ फेरने लगा. हाथ फेरते फेरते मेरे हाथ उस के पेट पर घूमने लगे, पल्लवी को अब और मजा आने लगा था और अब मुझे भी कुछ कुछ होने लगा था और ना जाने कब कब में मेरे हाथ पल्लवी के कूल्हों को सहलाने लगे, पता ही नहीं चला.

उस के बाद मेरे हाथ उस के शर्ट के नीचे उसकी जाँघ पर घूमने लगे, पल्लवी की आँखें बंद थीं और उसके मुँह से हल्की ‘इसस्स.. आहम्म..’ की सिसकारियां निकल रही थीं. इतनी देर में मैं अपने होश खो बैठा और अब मेरे हाथ पल्लवी के मम्मों को अच्छे से सहलाने लगे थे. उस के बाद मैं पल्लवी के नज़दीक आया और उस के ऊपर आकर उसकी गर्दन को चूमने लगा. उसके बाद मैंने अपने होंठ पल्लवी के होंठों पर रख दिए.

पल्लवी भी मेरा साथ देने लगी. मैंने अपना एक हाथ उसकी चूड़ीदार पाजामी के ऊपर से ही उसकी चुत पर रखा तो मैंने महसूस किया कि उसकी चुत में से कुछ निकला है और वो बहुत ही चिकना पदार्थ है. मैंने पल्लवी का शर्ट उतारा, उसने अन्दर ब्लैक ब्रा पहनी हुई थी, जिसमें उसके मोटे मोटे 36 साइज़ के चूचे बड़े सेक्सी लग रहे थे. मैं उन मम्मों को ब्रा के ऊपर से ही चूसने लगा.

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अब पल्लवी की सिसकारियां बहुत तेज़ हो चुकी थीं. मैंने पानी के अन्दर अपना मुँह डाल दिया और पल्लवी की चुत को उसकी पजामी के ऊपर से ही चूसने लगा. पल्लवी अचानक तेज़ी से तड़प उठी और मेरे सिर को अपनी चुत पर दबाने लगी. मैंने पल्लवी की पजामी का नाड़ा खोल दिया और उसकी पजामी को उतार दिया. इसके बाद मैंने पल्लवी को पानी में उल्टा किया और उसके ऊपर चढ़ कर उसकी गर्दन से उसको चूमना शुरू कर दिया.

पल्लवी अब बहुत तेज़ ‘आआह.. उउम्म्म्म..’ की सिसकारियां भर रही थी. गर्दन को चूमते हुए मैं उसकी पीठ को चूमने लगा और उस की ब्रा का हुक खोल कर पीठ को चूमते हुए उसके मम्मों को हाथों से दबाने लगा. उस के बाद मैं पल्लवी की कमर को चूमते हुए उस की कमर को चूमने लगा और उस की ब्लैक पेंटी को उतार कर उस के कूल्हों को चूमने लगा.

इतना कुछ करने के बाद मैंने पल्लवी को सीधा किया और उस की टांगों को खोल कर मैं अपना 6.5 इंच लंबा लंड उसकी चुत पे सैट करके बैठ गया. अब मैं उसके मम्मों को चूसने लगा, पल्लवी की अभी भी आँखें बंद थीं और वो ज़ोरों से सिसकारियां भर रही थी.

मैंने अपना लंड उनकी चूत पर सैट करके धीरे से धक्का मारा. लेकिन पानी के अन्दर मेरा लंड उसकी चुत से फिसल गया. फिर मैंने अपने लंड को हाथ से पकड़ कर उस की चुत पर रखा और एक ज़ोरदार धक्का लगा दिया. इस झटके से मेरा आधा लंड उसकी चुत में जा चुका था, जिससे पल्लवी दर्द के मारे कराह उठी. मैंने तुरंत उसके होंठों को अपने होंठों से दबा दिया और थोड़ी देर रुकने के बाद दुबारा मैंने एक और ज़ोरदार धक्का दिया.

पल्लवी और तेज़ चिल्लाई- उईई माँआआ.. आअहह.. मर गई..
मेरा पूरा लंड उसकी चुत में उतर चुका था. उसकी चुत बहुत ही टाइट थी, जिस वजह से मेरे भी लंड में दर्द होने लगा था.

पल्लवी का दर्द नॉर्मल होने के बाद मैंने अपने लंड को उस की चुत के अन्दर बाहर करना शुरू किया. अब पल्लवी को भी मज़ा आ रहा था. मैंने अब स्पीड बढ़ा ली थी. लंड को उस की चुत में अन्दर बाहर करने के दौरान पल्लवी 2 बार मुझसे तेज़ी से चिपक कर अकड़ गई थी. शायद वो झड़ गई थी, मैं पानी में उस की चुदाई किए जा रहा था.

करीब दस मिनट बाद मैं भी झड़ने वाला ही था.. तो मैंने अपना लंड उस की चुत से बाहर निकाल लिया. मैं भी उसकी चुत से बाहर पानी में ही झड़ गया और मैं पल्लवी के ऊपर ही गिर गया.

हम दोनों पानी में ऐसे ही लेट गए, इसके बाद करीब 15-20 मिनट बाद पल्लवी को होश आया और मुझे अचानक धक्का देकर पानी के टब से बिल्कुल नंगी बाहर निकली और अपनी नंगे शरीर को तौलिया से ढक लिया.

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पल्लवी ने देखा कि पूरा टब का पानी उस की चुत के खून से लाल सा हो गया था. ये देख कर पल्लवी बहुत तेज़ रोने लगी और बोली- नमन, ये क्या कर दिया तुमने?
मैंने बोला- पल्लवी पता नहीं ये सब कब और कैसे हो गया, मुझे भी कुछ होश नहीं.
पल्लवी रोती हुई बोली- नमन अब क्या होगा जब किसी को पता चलेगा तो?
मैंने बोला- पल्लवी घबराओ नहीं.. किसी को हम कुछ नहीं बताएंगे और ये बात तुम्हारे और मेरे बीच में ही रखेंगे.

पल्लवी रोती हुई बाथरूम से बाहर निकली, उससे चला नहीं जा रहा था. वो जैसे तैसे चल कर वो सोफे पर जाकर उल्टी लेट गई.. और नीचे मुँह करके रोने लगी. मैंने बाथरूम से पल्लवी के सूट चूड़ीदार पजामी पेंटी ब्रा उठाई और वॉशिंग मशीन में सूखने को रख दिए. फिर सुखा कर पल्लवी को पहनने को दिए. पल्लवी ने मेरे सामने ही कपड़े पहनने शुरू किए, उसकी ब्रा का हुक मैंने लगाया उसको उसके कपड़े पहनने में हेल्प की.

जब पल्लवी वहाँ से जाने लगी तो मैंने कहा कि पल्लवी एक बार डॉक्टर को दिखा दें क्या?
तो उसने बोला- नमन तुमको कुछ करने की ज़रूरत नहीं है, मैं खुद संभाल लूँगी.. और हाँ आज के बाद तुम मुझ से मिलने की या बात करने की प्लीज़ कोशिश मत करना.

ये कह कर पल्लवी वहाँ से अपनी स्कूटी लेकर चली गई.

दोस्तो इस कहानी के कमेंट आने के बाद आपको मैं अपनी अगली कहानी बताऊंगा. इसमें मैं आपके साथ अपनी वो कहानी शेयर करूँगा, जिसमें आप सभी जानेंगे कि मैंने अपनी बहन की भी चुदाई की है.

 

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सर्दी की रात में गर्लफ्रैंड की पहली चुदाई | hindisexstories.autocamper-service.ru //hindisexstories.autocamper-service.ru/youjizzmobileporn/office-sex/sardi-ki-rat-me-girlfriend-ki-pahali-chudai.html //hindisexstories.autocamper-service.ru/youjizzmobileporn/office-sex/sardi-ki-rat-me-girlfriend-ki-pahali-chudai.html#respond Mon, 04 Dec 2017 09:03:02 +0000 //hindisexstories.autocamper-service.ru/youjizzmobileporn/?p=11247 सर्दी की रात में गर्लफ्रेंड की पहली चुदाई की कहानी पढ़िए मैंने उसकी चूत के ऊपर अपना लन्ड रख दिया वो तो बस आह आह आह धीरे से मैंने अपना लन्ड थोड़ा सा उसकी चूत में डाल दिया | वो चिल्ला उठी बोली राजा दर्द हो रहा है | मैने बोला थोड़ा होगा फिर काम हो जाएगा

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हेलो दोस्तो,

मेरा नाम विकाश है और मेरी उम्र 21 साल की है , मैं राजस्थान के दौसा जिले का रहने वाला हु । मैं दिखने में थोड़ा स्मार्ट हु तो लडकिया पटाने में मुझे आज तक कोई भी प्रॉब्लम नही आई है। मैं सीधे अपनी कहानी पर आता हूं |

रविता जो कि मेरी पहली गर्लफ्रैंड थी उसको मैने एक पार्टी में पटाया था | रविता दिखने में बहुत ही खूबसूरत थी, क्या कमाल का फिगर था उसका उसके बूब्स मोटे मोटे थे मन तो कर रहा था कि इनका सारा दूध पी जाऊ। वो मेरे पापा के दोस्त की बेटी थी जो मेरे छोटे भाई की बर्थडे पार्टी में आई थी वही पर मेरी पहली मुलाकात रविता से हुई । वो के खत्म होने तक वो मेरे से काफी घुलमिल गयी थी

पार्टी के खत्म होने पर जाने से पहले वो मेरे से मेरे व्हाट्सअप नंबर ले गयी |  घर जाकर उसके hiii मेसेज किया ओर उसके बाद धीरे धीरे दिन बीतते गए और मैने उसे प्रोपोज़ कर दिया और वो मान भी गयी | धीरे धीरे हम दोनों ने फ़ोन पर सेक्सी बाते करना सुरु कर दिया मेरा लन्ड तो बस अब उसकी चूत में घुसने को बेताब था | इंतजार तो बस मौके का था |

एक दिन उसकी फैमली शादी में कही पर गए हुए थे तो उसने मेरे को बोला कि आज कोई भी घर पर नही है तुम आजाओ तुम्हारी चुदाई की ख्वाहिश पूरी करती हूं |

मेरा लन्ड खड़ा हो गया | और मैने बाथरूम में जाकर मुट्ठी मार ली | मैंने भी अपने घर वालो से झूठ बोला की मैं अपने दोस्त की बहन की शादी में जा रहा हु तो घर वालो ने मुझे जाने दिया और मैं रात 9 बजे रविता के घर पहुच गया |

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मैने घर जाकर रविता के लिपट गया और kiss करने लग गया वो मेरे लन्ड को जोर से दबाने लगी  फिर उसने बोला की अपने पास सारी रात पड़ी है थोड़ा जोश आने दो धीरे धीरे चुदाई करेगे | फिर हम उनकी LED में Pendrive लगादी जिसमे मैने porn मूवी डाल रखी थी |

पोर्न मूवी देखने के बाद वो फुल गर्म हो गयी | उसके धीरे धीरे मैने कपङे खोल दिये | ब्रा और पेंटी में देख कर मेरा लन्ड पानी पानी हो गया
क्या कमाल का नज़ारा था |

सर्दी की रात में गर्लफ्रेंड की पहली चुदाई

सारे बदन की म नुमाइश करने के बाद मैंने उनके बूब्स  दबाने लग गया और किश करने लग गया | वो भी पूरे जोश में थी | सर्दी के दिन थे तो वो मेरे से बिल्कुल लिपट गयी मैने ब्रा और पेंटी खोल दी उसकी उसकी गुलाबी चूत की खुश्बू कमाल थी दोस्तो | आप यह हॉट हिंदी सेक्सी कहानी मस्ताराम डॉट नेट पर पढ़ रहे है | उसकी चूत पर एक भी बाल नही था |

उसकी चिकनी चूत का सारा रस पीने में मज़ा आ गया | उसकी चूत चाट रहा था और वो बस आह आह आह की सिसकारियां भरे जा रही थी | वो एक बार झड़ गयी और मैं उसकी चूत का सारा पानी पी गया | अब मैने अपना लन्ड उसके मुँह में रख दिया मेरे लन्ड को देख कर वो सरमा गयी | फिर थोड़ा force करने के बाद वो मेरा लन्ड चूसने को तैयार हो गयी | फिर मैंने उसकी चूत के ऊपर अपना लन्ड रख दिया वो तो बस आह आह आह धीरे से मैंने अपना लन्ड थोड़ा सा उसकी चूत में डाल दिया | वो चिल्ला उठी बोली राजा दर्द हो रहा है |

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मैने बोला थोड़ा होगा फिर काम हो जाएगा | फिर मैंने जोर का झटका दिया और सारा लन्ड उसकी चूत में डाल दिया | उसकी आँखों मे आशु आगये मैंने अपने होठों से उसका मुंह बंद कर दिया | फिर झटके सुरु हो गए धीरे धीरे वो भी मेरा साथ देने लग गयी |

करीब 15 मिनट बाद मैं झाड़ गया | फिर मैंने रात भर 6-7 बार चुदाई की | वो चुदाई में ज़िन्दगी भर नही भूल पाउगा | अब जब भी मौका मिलता है मैं उसकी चुदाई करने पहुच जाता हूं |

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आपकी प्रेमिका आखिर क्या चाहती है ? | hindisexstories.autocamper-service.ru //hindisexstories.autocamper-service.ru/youjizzmobileporn/sex-knowledge/apki-premika-akhir-kya-chahati-hai.html //hindisexstories.autocamper-service.ru/youjizzmobileporn/sex-knowledge/apki-premika-akhir-kya-chahati-hai.html#respond Sun, 03 Dec 2017 04:50:29 +0000 //hindisexstories.autocamper-service.ru/youjizzmobileporn/?p=11088 आपकी प्रेमिका आखिर क्या चाहती है ? : सारी दुनिया के पुरुष इस सवाल से परेशान रहते हैं कि आखिर प्रेमिका उनसे चाहती क्या है? हर महिला की पसंद दूसरी से अलग होती है। लेकिन हां, हम आपको आठ ऐसी चीज़ें बता रहे हैं जो हर महिला चाहती है कि उसके मैचो मैन में हों ही। मिला कर देखिए तो इनमें से कौन-कौन सी क्वॉलिटी है आपमें

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आपकी प्रेमिका आखिर क्या चाहती है ? : सारी दुनिया के पुरुष इस सवाल से परेशान रहते हैं कि आखिर प्रेमिका उनसे चाहती क्या है? हर महिला की पसंद दूसरी से अलग होती है। लेकिन हां, हम आपको कुछ ऐसी चीज़ें बता रहे हैं जो हर महिला चाहती है कि उसके माचोमैन में हों ही।

मिला कर देखिए तो इनमें से कौन-कौन सी क्वॉलिटी है आपमें –

  • सुपरमैन हर महिला को प्रोटेक्ट किया जाना बहुत अच्छा लगता है। इसलिए उन्हें लेकर प्रोटेक्टिव रहेंगे तो उन्हें अच्छा लगेगा। महिलाएं हमेशा ऐसे पुरुष की दीवानी हो जाती हैं जो मुसीबत से उन्हें बचाए। किसी भी मौके का फ़ायदा उठाने से न चूकें।
  • अच्छी खुशबू अच्छी खुशबू इम्प्रेशन जमाने में बहुत अहम भूमिका निभाती है। ऐसी खुशबू चुनें जो आपकी पर्सनैलिटी को सूट करे। पहली डेट पर तो डियो या परफ्यूम के साथ हरगिज़ एक्सपेरिमेंट न करें।
  • सरप्राइज सरप्राइज महिलाओं की पहली पसंद होते हैं। जितना उन्हें चौंकाएंगे उतना ही उनके करीब जाने के चांस बनेंगे। हां, यह ध्यान रखें कि सरप्राइज़ अच्छा ही हो वरना यह आपकी आखिरी डेट का कारण भी बन सकता है।
  • सचाई महिलाओं के मामले में ईमानदारी ही सबसे काम की चीज़ होती है। जो है, उन्हें साफ़-साफ़ खुलकर बता दें। उनसे झूठ न बोलें, खासकर तब जब आप उनसे लंबा रिश्ता चाहते हों। वरना गड़बड़ हो जाएगी।
  • परफेक्ट बॉडी महिलाओं को परफेक्ट बॉडी वाले पुरुष पसंद होते हैं। इस बात का अंदाज़ा सिक्स पैक ऐब्स वाले ऐक्टरों के प्रति उनकी दीवानगी से ही हो जाता है। रेग्युलर वर्कआउट की आदत डाल लें।
  • ड्रेसिंग सेंस एक प्रॉपर्ली ड्रेस्ड आदमी लड़कियों को किस हद तक इम्प्रेस कर सकता है आप अंदाज़ा भी नहीं लगा सकते। निकलने से पहले स्टाइल चेक ज़रूर करें और ट्रेड्स में रहने वाले कपड़ों को अपने वॉर्डरोब में शामिल करें।
  • हेयरस्टाइल फंकी हेयरकट्स एक हद तक आपका साथ दे सकते हैं लेकिन जो बात जेंटलमन के हेयरकट में है वह औरों में कहां… अपना हेयरस्टाइल जितना कन्वेंशनल रखेंगे उतना ही अच्छा रहेगा।
  • हाथों का जादू एक आदमी, जिसे खाना बनाना आता हो लड़कियों का ड्रीममैन होता है। अपनी लेडी के साथ कुकिंग करें। शर्तिया वह आपसे इम्प्रेस हो जाएंगी।

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गर्लफ्रेंड की चूदाई | hindisexstories.autocamper-service.ru //hindisexstories.autocamper-service.ru/youjizzmobileporn/girlfriend/girlfriend-ki-chudai.html //hindisexstories.autocamper-service.ru/youjizzmobileporn/girlfriend/girlfriend-ki-chudai.html#respond Fri, 03 Nov 2017 06:23:53 +0000 //hindisexstories.autocamper-service.ru/youjizzmobileporn/?p=10767 मस्ताराम डॉट नेट के सभी पाठकों को मेरा नमस्कार यह मेरी पहली कहानी है गर्लफ्रेंड की चूदाई की यह पूरी तरह सच है आशा करता हूं कि आपको बहुत पसंद आऐ | अब मैं अपने बारे में बता देता हूं मेरा नाम राज (बदला हूआ) है और मैं नीमच में रहता हूं

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मैं मस्ताराम डॉट नेट की कहानियों का लगभग 4 सालों से अध्ययन कर रहा हूं मुझे यह साइट बहुत अच्छी लगती है और आज मैं अपनी कहानी लेकर आया हूं मैं  मस्ताराम गुरूजी का धन्यवाद करना चाहता हूं जो मेरी कहानी को यहां पोस्ट कर रहे हैं |

मस्ताराम डॉट नेट के सभी पाठकों को मेरा नमस्कार यह मेरी पहली कहानी है गर्लफ्रेंड की चूदाई की यह पूरी तरह सच है आशा करता हूं कि आपको बहुत पसंद आऐ | अब मैं अपने बारे में बता देता हूं मेरा नाम राज (बदला हूआ) है और मैं नीमच में रहता हूं मैं कॉलेज के सेकंड ईयर में पढ़ता हूं मेरी लंबाई 5.11 और देखने स्मार्ट लगता हूं और अपनी ज्यादा तारीफ ना करते हुए मैं सीधा कहानी पर आता हूं बात एक महीने पहले की है मैं और मेरा दोस्त बैठकर बातें कर रहे थे इतने में उसने एक लड़की के बारे में बताया तो मैंने उससे वह लड़की के नंबर ले लिया फिर मैंने उसको WhatsApp पर मैसेज किया तो उसका रिप्लाई आया फिर धीरे-धीरे हमारी ऐसे ही फ्रेंडली बात होती रही लगभग 15 दिन तक हम ऐसे ही बातें करते रहे फिर एक दिन मैंने उसे फ्रेंडशिप के लिए बोला तो उसने थोड़े मना किया लेकिन मेरे बार बार कहने पर वह मान गई चलिए |

मैं पहले उस लड़की के बारे में बता देता हूं उसका नाम रीना (बदला हुआ) बहुत ही अच्छी दिखने वाली लड़की उसका फिगर 32 30 34 का गठीला बदन और नशीली आंखें जो हर कोई देख कर पागल हो जाए वैसा ही मेरे साथ हुआ धीरे धीरे हमारा बातों का सिलसिला चलता रहा फिर हम फोन पर बात करने लगे धीरे-धीरे हमारी बातें फ्रेंडशिप से आगे बढ़ती गई और हम सेक्स के टॉपिक पर भी बातें करने लगे जिस पर मैंने उससे उसके बॉयफ्रेंड के बारे में पूछा तो तो उसने कहा कि मेरा कोई बॉयफ्रेंड नहीं है |

मैंने सेक्स की पूछा तो मना करने लग गई थी मैंने कभी किसी के साथ ऐसा नहीं किया और कुछ दिन बाद मेरा बर्थडे आया जिस पर उसने रात को 12:00 बजे कॉल करके मुझे बर्थडे विश किया जिस पर मैंने अपने गिफ्ट के बारे में पूछा तो उसने कहा आपको क्या चाहिए आप तो समझ ही सकते हैं लड़के का दिमाग मैंने झट से उसे किस करने को बोला तू उसने हां कर दी और फिर हमने मिलने के लिए एक दिन फिक्स किया फिर मैंने अपने एक दोस्त से  इस बारे में बात की उसका एक घर जो कि खाली रहता है |

वहां मिलने की  बात की  और फिर आखिर वो दिन आ ही गया और मैं बाजार से कुछ चॉकलेट्स और एक कंडोम का पैकेट ले आया और फिर रीना को कॉल किया और उसे पिकअप करने पहुंच गया |

वहां उसे देख कर मैं देखता ही रह गया ब्लैक जींस और पिंक टीशर्ट में क्या गजब की माल लग रही थी वह उसे  बाइक पर बिठाया और अपने दोस्त के घर कि तरफ चल दिया रास्ते में मैं बाइक के ब्रेक लगाता जिससे उसके बूब्ज़ मेरी पीठ से टच होते मेरा लिंग वही खड़ा होने लगा फिर हम दोस्त के रूम पर पहुंचे जहां पर मैंने उसे अंदर कमरे में बिठाया और अपने दोस्त से बाहर ही रुकने को कहा मैं जैसे ही कमरे में गया मैंने अंदर का दरवाजा बंद कर दिया फिर मैंने उसे चॉकलेट्स दी और बातें करने लगे थोड़ी देर बातें करते करते मैंने उसे अपने बर्थडे गिफ्ट की याद दिलाई तो वह बोली ओके ले लो फिर धीरे-धीरे उसके पास गया उसके गालों गले और कान पर किस किया और फिर हम दोनों एक दूसरे को लिप किस करने लगे लगभग 15 मिनट तक हम वैसे ही एक दूसरे को लिप-लॉक करते रहे फिर हम अलग हुए तो वह मुझसे नजर नहीं मिला पा रही थी |

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मैंने उससे कहा अपने बॉयफ्रेंड के साथ कैसा शर्माना धीरे-धीरे बातें करते हैं मेरे लिंग की तो वैसे वैसे भी हालत खराब हो रही थी वह पेंट में तंबू बनाएं खड़ा था फिर मैं उसे लेटा कर उसके पास लेट गया | इस कहानी का शीर्षक गर्लफ्रेंड की चूदाई है |  उसे किस करने लगा फिर मेरा एक हाथ उसके बूब्स पर और एक नीचे उसकी जींस पर चला गया जिस पर हो खड़ी हो गई और गुस्सा होकर मना करने लग गई |

उसने कहा आपने सिर्फ बात और मिलने के लिए बुलाया था यह अच्छी बात नहीं है तो मैंने उसकी परेशानी समझते हुए अपने आप पर कंट्रोल किया फिर हम दोनों ऐसे ही लगभग 2 घंटे तक बातें करते रहे और बीच-बीच में किस करते रहे फिर उसे घर जाना था तो मैं उसे उसके घर के करीब छोड़ आया और फिर धीरे-धीरे हमारी फोन पर बातें होने लगी उसके बाद मैंने उसे फिर से मिलने के लिए बोला उस समय हमारी सेक्स और सभी बातें हो चुकी थी तो मैंने फिर से अपने दोस्त के ही घर में उसे मिलने के लिए बुलाया उस समय मैं और वहां अकेले थे मेरे फ्रेंड को कहीं बाहर जाना था तो वह अपने घर की चाबी मुझे देकर चला गया |

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मैं और रीना मेरे दोस्त के घर पर आ गए तब हम बैठे और बातें करते करते हैं मैं बीच-बीच में उसे छेड़ देता और बार-बार सिर्फ सेक्स की ही बातें करता जिससे वह भी मजे से उसका जवाब देती और फिर मैं उसको किस करना चालू हुआ और वह बता रहा करीब 20 मिनट तक हम ऐसे ही रहे फिर धीरे धीरे वो गर्म होने लगी फिर मैंने उससे सेक्स की बात कही तो उसने उसके लिए हां कर दी और फिर मैं उसके ऊपर भूखे भेड़िए की तरह झपट गया फिर धीरे धीरे मैंने उसकी जींस उतारी उसने और क्या गोरी गोरी मस्त टांगे थी उसकी मैं उसका मखमली शरीर और टांगे देख कर पागल हो गया | आप यह कहानी मस्ताराम डॉट नेट पर पढ़ रहे है | और फटाक से उसकी पैंटी उतार कर उसकी चूत सहलाने लगा जिससे वह सिहर उठी और उसके मुंह से आह निकल गई फिर मैंने थोड़े समय से किस करना चालू रखा और धीरे-धीरे उसकी टी-शर्ट को अलग कर दिया जिससे वह पिंक ब्रा मैं रह गई थी और उसकी चूचियां से बाहर आने को हो रही थी जैसे ही मैंने उसकी ब्रा को हटाया उसकी दोनों चूचियां बाहर को आ गई |

चूचियां से बाहर आने को हो रही थी

मैं उन्हें देख कर चौंक गया क्या चूचियां थी यार उसकी मैं उन्हें देखकर पागल हो गया और उन्हें दबाता हुआ उसे ही बहुत प्यार करने लगा और धीरे-धीरे उसके पूरे शरीर को चूमते हुए उसकी चूत पर चला गया फिर धीरे से उसकी चूत को सहलाया और उस पर अपना मुंह लगाकर उसे चाटने लगा जिससे हो सिसकारियां लेने लगी और मेरे सिर को पकड़कर अपनी टांगों के बीच में दबाने लगी और मैं अपनी जीभ से उसकी चूत को लगातार चाट रहा था और एक उंगली अंदर डाल कर अंदर बाहर कर रहा था जिससे वह तड़प उठी और उसका नमकीन पानी निकल गया |

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जिसे मैं बड़े स्वाद से पी गया फिर मैंने उसे उठाया और उससे अपने लण्ड को मुंह में लेने के लिए कहा तो वह मना करने लगी उसे ऐसा अच्छा नहीं लगता तो मैंने ज्यादा जबरदस्ती ना करते हुए उससे कहा कि वह मेरे कपड़े उतारे तो उसने एक एक करके मेरे सारे कपड़े उतार दिए और अब वह धीरे-धीरे मेरे खड़े लण्ड के साथ खेलने लगी धीरे-धीरे मेरे को आगे पीछे करने लगी फिर धीरे-धीरे हम किस करने लगे और फिर से वह गरम हो गई फिर उसको नीचे लिटा कर मैंने उसकी कमर के नीचे तकिया लगाया और उसको किस करते हुए मैंने अपना लण्ड उसकी चूत  पर सेट किया और एक धक्का लगाया जिससे मेरा आधा लण्ड उसकी चूत  में समा गया और उसके मुंह से आह निकल गई फिर किस करता रहा और धीरे-धीरे उसे भी मजा आने लगा और फिर हम दोनों जगातील चूदाई करने लगे वह अपनी कमर उठा उठा कर मेरे हर झटके का जवाब देने लगी फिर फिर मैंने उसे अपने ऊपर आने को कहा तो वह उठी और अपनी चूत को मेरे खड़े लण्ड पर सेट करके बैठी गई फिर हम पूरे जोश से चूदाई करने लगो इस बीच हमने जैसे कि सेक्स वीडियो में करते हैं वैसे 2-4 पोजीशन ट्राई किए और फिर मेरे को लगने लगा  कि मेरा निकलने वाला है |

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मैंने उससे कहा कि हमें कोई परेशानी नहीं हो इसलिए अब तो मुझे कंडोम पहना दो फिर मैंने कंडोम का पैकेट जोकि मेरे पास पहले से ही पड़ा था उसमें से एक कंडोम निकाला और उसके हाथ में दे दिया जिसे उसने फाड़कर मेरे लण्ड पर पहना दिया फिर हम चूदाई के नशे में चूर होते चले गए लगभग 20 25 झटकों के बाद वह एकदम से मुझे पकड़कर खींचने लगी | इस कहानी का शीर्षक गर्लफ्रेंड की चूदाई है |  मैं समझ गया कि वो झड़ गई है और अब मैं तेरी से शॉट लगाते हुए 10  15 छूट में मेरा माल निकल गया और मैं ऐसे ही उसके ऊपर लेटा रहा फिर हमने थोड़े टाइम किस किया और एक दूसरे को को चुमा फिर कपड़े पहने और उसे उसके घर छोड़ कर अपने घर चला गया |

तो पाठको आपको मेरी कहानी सेक्स कहानी कैसी लगी मुझे मेरी ईमेल ID [email protected] पर ईमेल करके जरूर बताएं मुझे आपके बहुमूल्य मेल का इंतजार रहेगा |

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जंगली भुत की तरह चोदा उसे आज भी याद है | hindisexstories.autocamper-service.ru //hindisexstories.autocamper-service.ru/youjizzmobileporn/koi-mil-gaya/jungli-bhoot-ki-tarah-choda-use-aaj-bhi-yaad-hai.html //hindisexstories.autocamper-service.ru/youjizzmobileporn/koi-mil-gaya/jungli-bhoot-ki-tarah-choda-use-aaj-bhi-yaad-hai.html#respond Mon, 23 Oct 2017 14:51:40 +0000 //hindisexstories.autocamper-service.ru/youjizzmobileporn/?p=10651 जंगली भुत की तरह चोदा उसे आज भी याद है जब मैंने उसकी चुत पर अपनी जीभ लगायी तो जोर से उछल पड़ी और मेरे मुह को अपनी चुत पर दबा ली मैंने भी अपनी जीभ को लम्बा कर उसकी चुत में घुसेड़ दी फिर क्या बताऊँ दोस्तों आप पढ़ के देखो |

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मै २२ साल का भरपूर बॉडी वाला नौजवान हूँ | चुदाई तो बहुत किया हूँ पर कुछ दिनों से चुत ना मिल पाने की वजह से सूखे में जीवन व्यतीत कर रहा था | जैसे सबके मन चुदाई की वासना रहती है | वैसे ही मेरे मन में भी तड़प थी | पर क्या करू जब तक तड़प तक़दीर में लिखी है तो उसे कौन टाल सकता है | मेरे मन में अब चुदाई की इच्छा प्रबल होती जा रही थी एक दिन बिताना भरी पड़ रहा था | मेरे कॉलेज के कुछ दोस्त इस बारे में जानते थे कई ने मुझे रंडी बुला कर चोदने की सलाह तक दे डाली | पर डर के वजह से नहीं बुला पा रहा था | फिर मैंने मन ही मन फैसला किया मै एसा वैसा कोई काम नहीं करूँगा जब भी मौका मिलेगा चोद लुगा पर किसी रंडी को नहीं बुलाऊंगा |

फिर अचानक एक दिन मेरी किस्मत ने जोर मारा। छुट्टी का समय था और मैं कॉलेज के गेट पर खड़ा था कि तभी मेरी ही क्लास की एक लड़की काजल (बदला हुअ नाम) मेरे पास आई और बोली- मुझे तुमसे बात करनी है | मुझे लगा कि इसे कोई काम ही होगा और मैं लेट भी हो रहा था सो मैंने उसकी बात पर ज्यादा गौर नहीं किया। पहले आप लोगो को काजल के बारे में थोड़ा बता दूँ… क्या कहूँ बिल्कुल साधारण लड़की थी, औरों के लिए तो ठीक-ठाक एक सामान्य लड़की पर मेरे लिए तीखे नयन नक्शों वाली एक हूर की परी…..

उसने बात शुरू की- मैं और तुम एक ही नाव में हैं !

मुझे कुछ समझ नहीं आया, मैंने जोर से बोल दिया- अबे क्या कह रही है?

वो थोड़ा डर सी गई..

मैंने समझाया कि मुझे कुछ समझ नहीं आ रहा है कि तू क्या कहना चाहती है…

वो सहमी सी खड़ी रही।

मैंने तब उससे कहा- डर मत ! बोल जो बोलना है !

उसने कहा- मुझे पता चला है कि तुम्हें एक पार्टनर की जरुरत है !

अब मैं समझ गया कि वो कहाँ बोल रही थी !

मैंने कहा- हाँ है तो पर तुझे कैसे पता चला?

फिर वो बोली- मेरी दोस्त से !

जो कि मेरे उन दोनों दोस्तों में से ही एक की गर्लफ्रेंड थी!

वो आगे बोली- मैं तुम्हारी पार्टनर बन सकती हूँ पर मुझे डर है कहीं किसी को पता न चल जाये !

मैंने उसका डर दूर किया और कहा- यह डर मुझे भी है तभी तो आज तक कुछ नहीं किया !

बस फिर क्या था, बात आगे बढ़ी और अगले दिन का कार्यक्रम तय हुआ…

मैं अपना जोर जोर से धड़कता हुआ दिल हाथ में लेकर किसी तरह घर पंहुचा पर दिमाग में तो उसकी बातें ही घूम रही थी। घर जाते ही अपने कमरे में गया और खाना भी नहीं खाया |

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वही बातें दिमाग में घूमने लगी और तब अहसास हुआ कि उसने अभी तक सेक्स तो किया ही नहीं है। मतलब साफ़ था कि चूत एक दम टाइट होगी और उसे दर्द भी होगा…

बस फिर तो सारा दिन उसको चोदने के तरीके सोचने लगा … पहले ये करूँगा.. फिर वो … लेकिन एक बात दिमाग में थी कि उसे पूरी तरह गत्म करने के बाद ही कुछ शुरू करूँगा और उसके दर्द का भी ध्यान रखूँगा.. क्योंकि मुझे पता था कि अगर लड़की को दर्द ज्यादा हो तो ना वो खुद मजा ले पाती है और न तुम्हें दे पाती है…

बस देर रात तक यही सोचता रहा कि किसी भी तरह उसे अपने से पहले चरम-सुख दे सकूँ .. और उसे आनंद की चरम सीमा से भी परे ले जा सकूँ … ताकि उसका पहला सेक्स अनुभव यादगार बन जाये और वो मेरी दीवानी हो जाये !

खैर अगला दिन आया… सुबह दस बजे हम मिले और ऑटो पकड़ कर चल दिए होटल की ओर ….

वहाँ पहले अन्दर वो गई, कमरा बुक कराया दूसरे नाम से…. और कमरे में चली गई …

फिर कमरे में से मुझे कॉल किया कि रूम नंबर इतना है…

मैं होटल के बाहर ही खड़ा था तब तक ! ताकि किसी को शक न हो….

मैं सीधे होटल में गया.. किसी की तरफ नहीं देखा और सीधे कमरे की तरफ बढ़ गया ताकि अगर कोई देख भी रहा हो तो उसे लगे कि इसका कमरा पहले से बुक्ड है… आप यह हॉट हिंदी सेक्सी कहानी मस्ताराम डॉट नेट पर पढ़ रहे है |

खैर कमरे तक पहुंच कर दरवाज़ा खटखटाया…

उसने दरवाज़ा खोला और मुस्कुरा दी। मैं कमरे के अन्दर आया और सबसे पहले उसे मेरा पार्टनर बनने के लिए धन्यवाद दिया ! इससे पहले कि वो कुछ समझ पाती, मैंने उसे अपनी बाहों में जोर से जकड़ लिया और बोला- इस दिन के लिए कब से तड़प रहा था..

और अपने होंठ उसके होंठों से सटा दिए! अब मैं जोश से भर चुका था और जोर जोर से उसके होंठों को चूसे जा रहा था..

वो गर्म होने लगी- वो भी अपनी जीभ मेरे मुँह के अन्दर डाल कर मुझे आनंद दे रही थी। इसके साथ ही उसने अपने हाथों से मेरे हाथ अपने वक्ष पर रख लिए .. मैंने भी झट से उसके स्तन दबाने शरू कर दिए…

अब मुझसे रहा नहीं जा रहा था सो मैं उसे जोर से चूसने लगा और उसके स्तन इस तरह दबाने लगा कि वो तड़पने लगी…

फिर मैं कुछ देर बाद उससे अलग हुआ और एक ही झटके में उसके सारे कपड़े उतार दिए… अभी भी मैं उसके स्तन सहला रहा था… और वो आवाजें निकाल रही थी कि तभी मैंने पाया की उसकी चूत पूरी गीली हो चुकी है..

मैंने उसके रुमाल से उसकी चिकनाई साफ़ की और थोड़ी सी वेसलीन अपनी बीच वाली ऊँगली पर लगा कर अन्दर दे दी !

अब मैं पूरे हरामी मूड में आ चुका था सो मैंने अपनी ऊँगली गोल गोल घुमानी शरू कर दी और अब तो वो मचलने लगी और जोर जोर से आवाजे निकाल कर कह रही थी- और जोर से करो और जोर से !

मैं तो अपने होश खो बैठा और लगा उसकी चूत मसलने…

वो मजे से उछलने लगी..

मुझे बस इतना पता था कि उसे चरम-सुख पहले देना है बस चाहे जो हो जाये..

उसकी चूत एक दम गीली हो गई। मैंने दोबारा से चूत साफ़ की और अपना मुँह उस पर लगा दिया। जीभ अन्दर डाली और उसकी चूत को कुरेदने लगा, उसकी मदहोश करने वाली आवाजें आने लगी…

उसने अपने दोनों हाथ मेरे सर के पीछे किये और मेरा मुँह अपनी चूत में दबा लिया! मैं जंगली भूत की तरह उसकी चूत कुरेदने लगा और तभी उसकी अपनी टांगें बंद करनी शरू कर दी और उसका शरीर ऐंठने लगा… और फिर उसकी चूत से पानी का फव्वारा छूटा और इसके साथ ही उसका शरीर ढीला पड़ने लगा पर मैं नहीं रुका, मैं लगातार उसके स्तन मसलता रहा और थोड़ी देर बाद उसने कहा- अब नहीं रहा जा रहा ! अब डाल दो !

मैंने भी देर न करते हुए अपना लण्ड निकाल लिया, मुझे पता था कि पहली पहली बार तो आदमी ज्यादा देर टिकता ही नहीं पर मैं तो उसे ओर्गास्म दे ही चुका, अब जल्दी झड़ भी गया तोशर्मिंदा नहीं होना पड़ेगा। पर फिर भी अभी तो चरम-सीमा आनी बाकी थी।

मेरा लण्ड देखकर उसने कहा- इतना बड़ा मैं कैसे लूंगी ?

पर मैंने उसे समझाया तो मान गई। बस फिर क्या था, मैंने रखा उसकी चूत पर और थोड़ा सा डाल कर ही अन्दर बाहर करने लगा और फिर धीरे धीरे शरू हुई रफ़्तार !

जिसके साथ ही बढ़ता गया आनंद !

टूटी उसकी सील, निकला उसका खून पर दोनों ही थे नशे में चूर !

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अब वो लगी चिल्लाने ! मैंने भी पूरा अन्दर देकर कराया मिलन बच्चेदानी से ! रफ़्तार पे रफ़्तार, रफ़्तार पे रफ़्तार, रफ़्तार पे रफ़्तार और आखिर फिर फूट पड़ा उसका ज्वार ! मैं तो अब भी नहीं छूटा था….

तो चला एक दौर और ! इस बार थी मेरी साँसों और शरीर में गज़ब की गर्मी, चेहरा था लाल, साँस रही थी फूल ! पर फिर भी दम लगा कर था मैं मशगूल !

बस अब मेरा समय था.. मैंने उसे कहा तो बोली कि मैं भी आ रही हूँ ! दोनों साथ में होंगे…. और थोड़ी ही देर में हो गया ऐसा धमाका कि बस मत पूछो कि क्या साला हिरोशिमा पे बम गिरा होगा ! आप यह हॉट हिंदी सेक्सी कहानी मस्ताराम डॉट नेट पर पढ़ रहे है | खैर थोड़ी देर तो यूँ ही पड़े रहे, फिर पहने अपने अपने कपड़े …

अब हुए हम चलने को तो मैडम ने पास बुलाया सर पर चूमा और कहा- तुम्हारा दिया प्यार हमेशा याद रहेगा !

कमरे से एक एक करके निकले, फिर साथ खाना खाया …..

एक बार फिर जरुरत पड़ी उन्हें आश्वस्त करने की कि किसी को कभी नहीं बताऊंगा….

और चल दिए अपनी अपनी मंजिल की ओर….दोस्तों आप सभी को अगर सच्ची कहानी पसंद आये तो कुछ जरुर लिखना ताकि आगे की घटना आप सभी के समक्ष प्रस्तुत कर सकू | धन्यवाद !

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हॉट फिगर वाली मैडम की बुर चुदाई | hindisexstories.autocamper-service.ru //hindisexstories.autocamper-service.ru/youjizzmobileporn/guru-ghantal/hot-figure-wali-madam-ki-bur-chudai.html //hindisexstories.autocamper-service.ru/youjizzmobileporn/guru-ghantal/hot-figure-wali-madam-ki-bur-chudai.html#respond Fri, 15 Sep 2017 16:57:07 +0000 //hindisexstories.autocamper-service.ru/youjizzmobileporn/?p=10082 हॉट फिगर वाली मैडम की बुर चुदाई की कहानी पढ़ के लंड पर काबू पाना मुस्किल हो सकता है दोस्तों और मेरी प्यारी बहनों की चूत अपने आप गीली होकर पानी छोड़ देगी पर भाई लोगो को मुठ से काम चलाना पड़ेगा |

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दोस्तों, आज जो स्टूडेंट और टीचर की सेक्स कहानियों बताने जा रहा हू वो मेरी कॉलेज की टीचार के साथ सेक्स की कहानियों हैं । आज मैं बताऊंगा कैसे हॉट फिगर वाली मैडम की बुर चुदाई किया, मैडम को नंगा करके चूत में जीभ डाली ,टीचार का बूब्स चूसा और रात भर टीचर की चुदाई किया । शिवानी मैडम की उम्र कुछ 26 साल है. एकदम गोरा बदन फिगर 38-28-36 है. वो एकदम हॉट और सेक्सी लगती है और चलते वक़्त गांड तो ऐसे मटकती है कि उसको देखकर किसी का भी लंड तुरंत खड़ा हो जाए मित्रो यह बात उन दिनों की है जब में इंजीनियरिंग के लास्ट ईयर में था और रिज़ल्ट आया था तो में रिजल्ट लेने गया था. मैंने देखा कि में 4 विषय में फैल था, उसमें से मुझे 2 विषय शिवांगी मैडम पढ़ाती थी. मुझे मेरा साल ख़राब होते नजर आ रहा था, तो में शिवांगी मैडम के पास गया.

मैडम लैब में बैठी थी और कुछ पढ़ रही थी तो में अंदर गया और मैडम के पास जाकर उनके सामने खड़ा हुआ तो मुझे टीचार की बूब्स के दर्शन हो गये और मेरा लंड एकदम से खड़ा हो गया. फिर मैडम ने ऊपर देखा और उन्होने मुझसे पूछा कि क्या हुआ? तो मैंने उन्हें पूरी बात बताई तो बताते वक़्त वो मेरे लंड को देख रही थी और में उनके बूब्स को देख रहा था. फिर मैडम बोली कि तू टेन्शन मत ले, में तुझे पढ़ाउंगी. फिर दूसरे दिन से में रोज कॉलेज में मैडम की लैब में जाकर सीखने लगा, तब मुझे पता चला कि मैडम की शादी तय हुई है और सगाई भी हुई है |

फिर कॉलेज में पढ़ते वक़्त में बहुत डिस्टर्ब होने लगा तो मैडम बोली कि तू मेरे घर आ जाया कर, वैसे भी उनके घर वो सिर्फ़ अकेली रहती थी, उनकी फेमिली दूसरे शहर में रहती थी, तो में बोला कि ठीक है. फिर मैडम बोली कि तू सिर्फ़ अकेला आना और अपने दोस्तों को कभी नहीं लाना और किसी को बताना भी नहीं कि तू मेरे पास आता है. तो में बोला ठीक है और मुझे भी यही चाहिए था तो में खुश हो गया.फिर दूसरे दिन से में उनके घर जाने लगा, दोस्तों ये कहानी आप मस्ताराम डॉट नेट पर पढ़ रहे है। मेरी पढ़ाई अच्छी चल रही थी. एक दिन में सुबह गया तो मैडम नहा रही थी, मैंने बेल बजाई तो अंदर से आवाज़ आई कि 5 मिनट रूको आती हूँ. में बाहर खड़ा था, इतने में दरवाजा खुला और मैंने सामने देखा तो में हैरान हो गया, मैडम सिर्फ़ टावल लपेटे हुए आई थी, तो झट से मेरा लंड तन गया और मैडम ने वो देखा और स्माईल करके बोली पागल कहीं का, अन्दर आओ. मुझे समझ में आ गया कि मैडम को पटाना अब मुश्किल नहीं है |

में बाहर बैठा था और मैडम जल्दी से चेंज करके आई. फिर हम पढ़ाई करने लगे, रोज रोज ऐसे ही चल रहा था कि मेरे पापा का गावं में ट्रान्सफर हो गया तो वो मेरी माँ को और बहन को लेकर गावं जाने वाले थे, तो मैंने पापा से कहा कि में कॉलेज के पास ही रूम ले लेता हूँ. फिर में रूम ढूंढ रहा था तो उस दिन में क्लास में नहीं गया.फिर मुझे मैडम का फोन आया तो मैंने उन्हें सारी बात बताई तो वो बोली अरे पागल मेरा फ्लेट है ना, इतना बड़ा है और वैसे भी में अकेली ही रहती हूँ और बोर होती हूँ, तो तू मेरे साथ रूम शेयर करना. में ये सारी बाते सुनकर इतना खुश हुआ कि दोस्तों में बता नहीं सकता, दोस्तों ये कहानी आप मस्ताराम डॉट नेट पर पढ़ रहे है।क्योंकि मेरा सपना सच होने जा रहा था. फिर में उसी दिन मैडम के फ्लैट में शिफ्ट हो गया. फिर मैडम ने कहा कि बिल्कुल आराम से अपना ही घर समझकर रहना. फिर तो क्या मुझे लॉटरी लग गयी थी पहली ही रात को हम डिनर करके सोने चले गए. मैडम के बेडरूम में डबल बेड था तो उसमें हम दोनों सो गये. फिर रात को 2 बजे मेरी नींद खुली तो मैंने मैडम की तरफ देखा, वो एकदम गहरी नींद में थी, उन्होंने हाफ पेंट और स्लीव टॉप पहना था और उनकी पेंट ढीली होगी तो वो नीचे आ गयी थी और मुझे उनकी गांड की बीच की लकीर दिखने लगी थी.

मैडम की गांड की लकीरे देख मेरा लंड फड़फड़ाने लगा

मैंने अपना लंड बाहर निकाला और मूठ मारने लगा, उतने में मैडम ने करवट बदल ली तो मैंने झट से लंड अंदर डाला और सोने का नाटक करने लगा और वैसे ही सो गया. जब में सुबह उठा तो मैडम नहाने गयी हुई थी और में उन्हें नंगा देखना चाहता था तो में बाथरूम की तरफ चला गया. फिर मैंने बाथरूम के होल से अंदर देखा तो मैडम पूरी नंगी थी और शॉवर का पानी उनके ऊपर गिर रहा था और वो अपने बूब्स सहला रही थी. फिर मेंने उधर ही मुठ मारना शुरू कर दिया. फिर मैडम बाहर आई तो में जल्दी से वहाँ से निकल गया. फिर ऐसे ही रोज चलने लगा, हम दोनों बहुत अच्छे दोस्त बन गये थे. वो उनकी हर बात मुझसे शेयर करने लगी थी और में भी हर बात शेयर करने लगा था. हम हमेशा साथ घूमने और शॉपिंग करने जाने लगे और जब बाहर घूमने जाते तो बाहर हाथ पकड़कर चलते थे. मैडम मेरे साथ बॉयफ्रेंड गर्लफ्रेंड जैसे ही रहती थी. ऐसे ही हम एक दिन घूमने निकले तो मैडम ने मेरे हाथ को पकड़ा था और मेरा हाथ उनके बूब्स को टच कर रहा था. मुझे बहुत अच्छा लग रहा था. दोस्तों ये कहानी आप मस्ताराम डॉट नेट पर पढ़ रहे है।फिर हम लोग मूवी देखने गये तो वो लव स्टोरी वाली मूवी थी, फिर मूवी ख़त्म होने के बाद हम रेस्टोरेंट में बैठे तो वहाँ मैडम ने मुझसे पूछा कि तुम्हारे कोई गर्लफ्रेंड नहीं है क्या? तुम इतने सुंदर स्मार्ट हो तो तुम्हारे कोई गर्लफ्रेंड तो होगी ना. फिर में बोला कि नहीं मुझे अभी तक मेरी पसंद की मिली ही नहीं है.

फिर वो बोली कि तुम्हें कैसी गर्लफ्रेंड चाहिए? मुझे बताओं, तो मैंने झट से बोल दिया कि बिल्कुल तुम्हारे जैसी और वो एकदम चुप हो गयी. फिर मैंने बोला कि क्या हुआ? तो उसने मुझे बोला कि मुझे भी तुम बहुत अच्छे लगते हो. तो बस मैंने तुरंत मैडम से कहा कि मैडम आई लव यू. फिर मैडम बोली कि नहीं ये ग़लत है, अभी मेरी शादी होने वाली है और तुम मेरे स्टूडेंट हो, हम दोनो दोंस्त ही अच्छे है. फिर मैंने मैडम को बहुत समझाया और मैडम को बोला कि हम किसी को भी पता नहीं लगने देंगे कि तुम मेरी गर्लफ्रेंड हो और ऐसे ही चलने देंगे ना, फिर मैडम बोली कि में सोचूँगी. फिर बस मुझे ग्रीन सिग्नल मिल चुका था फिर हम रात को घर आए. हम दोनों को भी नींद नहीं आ रही थी और हम दोनों विचार में मग्न थे और करवटे बदल रहे थे.फिर सुबह में उठा तो 10 बजे थे और मैडम कॉलेज चली गयी थी |

फिर में बाथरूम में नहाने गया तो उधर मुझे एक लेटर मिला जिसमे लिखा था कि कल से अकेले हॉल से देखकर मुठ नहीं मारना सीधे मेरे साथ ही नहाने आ जाना और नीचे लिखा था आई लव यू अंकुश. दोस्तों ये कहानी आप मस्ताराम डॉट नेट पर पढ़ रहे है।यह सब पढ़कर में इतना खुश हुआ कि बता नहीं सकता. फिर मैंने मैडम को तुरंत फोन किया और मैडम से बोला थैंक यू सो मच. तो मैडम बोली कि हाँ ठीक है अभी में घर आती हूँ, फिर हम बातें करेंगे. मैंने एक प्लान बनाया आज हमारी सुहागरात होने वाली थी तो मैंने हॉल में कैंडल लाईट डिनर का अरेंजमेंट किया और बेडरूम सज़ा दिया.

फिर मैडम 7 बजे घर आई तो मैंने दरवाजा खोला तो वो देखकर हैरान रह गयी. फिर मैंने उनके लिए लाया हुआ एक ड्रेस उनको दिया और कहा कि ये पहनकर आओ.फिर वो अंदर गयी और तैयार होकर आई तो में तो बस उन्हें देखता ही रह गया. वो क्या सेक्सी लग रही थी? बता नहीं सकता. फिर हमने डांस किया, केक काटा और ड्रिंक पिया, फिर डिनर करने लगे. तब मैंने मैडम से पूछा आपको कैसे पता कि में आपको देखकर मूठ मरता हूँ. तो वो बोली एक तो में अब तुम्हारी गर्लफ्रेंड हूँ तो मुझे मैडम कहना बंद करो और में पागल नहीं हूँ कि मुझे कुछ समझ ना आए.फिर में डिनर के बाद बालकनी में जाकर सिगरेट पीने लगा और मैडम डाइनिंग टेबल साफ़ कर रही थी. फिर वो काम ख़त्म करके वो बालकनी में आई और मुझे पीछे से हग किया और बोली कि आज में बहुत खुश हूँ थैंक यू सो मच. दोस्तों ये कहानी आप मस्ताराम डॉट नेट पर पढ़ रहे है।फिर मैंने उनको आगे घुमाया और सीधा उनके लिप पर किस करने लगा. फिर वो भी मेरा साथ देने लगी.फिर वो उसकी जीभ को मेरे लिप पर और जीभ पर घूमाने लगी, ऐसा 10 मिनट तक किस करने के बाद में उनका ड्रेस निकालने लगा, तो वो मना करने लगी तो मैंने कहा क्या हुआ? तो वो बोली अंदर चलो बाहर नहीं, फिर में उसको गोद में उठाकर अंदर ले गया. फिर मैंने उसका ड्रेस उतारा, वो अब सिर्फ़ पेंटी में थी क्या कड़क माल लग रही थी? अब मेरा सपना सच हुआ था. में पागलों की तरह उसे चूमने लगा और बूब्स दबाने लगा.

फिर उसने मेरे कपड़े उतारे और फिर में टीचार के बूब्स को चूसने लगा, उसके बूब्स क्या टेस्टी थे यार?

फिर मैंने उसको बेड पर बैठाया और मेरा 6 इंच का लंड टीचार के मुँह में डाल दिया. वो पागलों की तरह लंड चाटने लगी और सक करने लगी. फिर मैंने उसका सिर पकड़ा और ज़ोर-ज़ोर से आगे पीछे करने लगा, तो मेरे मुँह से आह शिवांगी, आह आह आआअ आवाज़ निकल रही थी. फिर 15 मिनट के बाद में उसके मुँह में ही झड़ गया. फिर उसने अपनी पेंटी उतारी और में उसे लिक करने लगा तो वो पागलों की तरह चिल्लाने लगी. हाईई आआ उउउफफफ्फ़ और तेज़ अंकुश और तेज़, फिर वो झड़ गयी और में उसका पूरा पानी पी गया. फिर मैंने टीचार को नीचे लेटाया और उसके पैरों को ऊपर किया और मेरा लंड टीचार की चूत पर रखा और एक ज़ोर का झटका मारा तो वो बहुत ज़ोर से चिल्लाई. आह्ह्ह्ह में मर गयी, हाअअहहा धीरे करो ना डार्लिंग. फिर में थोड़ा धीरे-धीरे झटके मारने लगा, तो वो बहुत मौन कर रही थी उतने में उसकी चूत से ब्लडिंग होने लगी तो में रुक गया. फिर मैंने उससे पूछा तुम्हारा पहली बार है क्या?

तो वो बोली हाँ और डरने लगी. दोस्तों ये कहानी आप मस्ताराम डॉट नेट पर पढ़ रहे है। फिर मैंने उससे कहा कि चिंता मत करो पहली बार में ऐसा ही होता है, फिर मैंने वो ब्लड साफ किया और फिर लंड अंदर डालकर शुरू हो गया. वो तो एकदम नशे में आ गयी थी और उसकी चूत एकदम गर्म हो चुकी थी और वो ज़ोर-ज़ोर से मौन कर रही थी. अहहाअ अहह और ज़ोर से लव यू किस मी डार्लिंग फक मी हार्ड अहहह्ह्ह्ह उउफफफफफ्फ़. फिर 20 मिनट के बाद में उसकी चूत में ही झड़ गया और वो एकदम थक सी गयी थी. फिर हम लोग सो गये. कैसी लगी हम डॉनो स्टूडेंट और टीचर की सेक्स स्टोरी , रिप्लाइ जररूर करना |

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जान बचाने के लिए जान को गरम करके चोदा | hindisexstories.autocamper-service.ru //hindisexstories.autocamper-service.ru/youjizzmobileporn/jawan-chut-ki-cudai/jaan-bachane-ke-liye-jaan-ko-garam-karake-choda.html //hindisexstories.autocamper-service.ru/youjizzmobileporn/jawan-chut-ki-cudai/jaan-bachane-ke-liye-jaan-ko-garam-karake-choda.html#respond Tue, 29 Aug 2017 04:57:03 +0000 //hindisexstories.autocamper-service.ru/youjizzmobileporn/?p=9913 जान बचाने के लिए जान को गरम करके चोदा, इसके कपडे उतारो और अपने शरीर की गर्मी इसको दो मैंने कहा क्या इससे ये ठीक हो जाएगी तो उन्होंने कहा हो सकता है ठीक हो जाये. मैंने सृदुप्ती के कपडे उतारे और देखा क्या बड़े बड़े दूध थे उसके और फिर उसके बदन को देखा उफ्फ्फ्फ्फ्फ्फ्फ़ मैंने सोचा क्या किस्मत है फिर मैंने उसकी चूत की तरफ नज़र घुमाई तो देखा एक दम छोटी और गुलाबी सी थी बिलकुल प्यारी सी उसपे एक भी बाल नहीं था

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दोस्तों मुझे आज आप से एक बात कहना है जो की बहुत बड़ी चीज़ है और मुझे हर वो बात आज आपसे करनी है जो हर शख्स कहने से डरता है | मेरी थोड़ी हिंदी कमजोर है तो मैं गुरुमास्ताराम जी से निवेदन करता हूँ की मेरी इस कहानी में हुई गलतियों को सुधारकर आप पाठको के सामने प्रस्तुत करे. मुझे तो पता ही नहीं था कि ऐसा भी कोई माध्यम होगा जिससे हम अपनी सच्ची घटना लोगों तक पहुंचा सकते हैं | पर आज जब इससे रूबरू हुए हैं तो मज़ा आ रहा है और मुझे लग रहा है कि मैं बिलकुल सही कर रहा हूँ |

मेरा नाम है सिद्धार्थ और मैं आंध्रा से हूँ और मुझे तो कबसे इस चीज़ का इंतज़ार था की कोई मुझे मिले और मैं उसे अपनी चुदाई की कहानी सुनाऊ| पर मुझे ऐसा कुछ मिला नहीं और अब दखिये सब लोग एक साथ मेरी कहानी पढेंगे | मेरे साथ वैसे तो कई किस्से हुए हैं पर जो किस्सा मेरे दिल के करीब है वो हेयर मेरी दोस्त सृदुप्ती का |

मैं भी आप लोगो की तरह ही एक सीधा सा इंसान हूँ और मुझे भी साधारण सी चीज़े पसंद है और मुझे बहुत अच्छा लगता है जब कोई मुझे गौर से सुनता है जैसे की आप लोग सुन रहे हो | मेरे पास कोई ज्यादा धन दौलत तो थी नहीं हाँ पर एक चीज़ थी वो थे दोस्त और उनमे सब से ज्यादा ख़ास सृदुप्ती थी | थी से मेरा मतलब यह है की अब उसकी शादी हो गयी और वो कर्नाटक में रहने लगी है पर हमारी बात होती रहती है |

तो ये बात है दो साल पहले की जब हम दोनों एक साथ नौकरी तलाश करने गये थे | हमे गांवों में घूमना बहुत पसंद था और उमने सोचा था हम इन लोगों के लिए कुछ करेंगे | तो हमलोगों ने बहुत मेहनत की और आखिकार वो नौकरी हमे मिल ही गयी | हमारा काम था की गाँव में साफाई से जुडी जानकारी फैलाना और हमे कई गाँवों में घूमना था | हम दोनों थे और साथ में दस लोगो का ग्रुप भी था जो सारी चीज़ों को व्यवस्थित करता था तो हमे किसी भी चीज़ का डर नही था |

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रहने के लिए हमे कभी झोपडी कभी कच्चे घर पर एक बात है वो जो शुद्ध हवा और वातावरण गाँव में है वो शहर में देखने को नहीं मिलता | ये हमे खूब भा रहा था और पैसे भी अच्छे मिलते थे |

मेरा काम जम चुका था और सृदुप्ती तो पागल ही थी | एक साल लगातार काम करने के बाद भी उसने एक दिन भी छुट्टी नहीं ली थी और मैं तो बस उसी के चक्कर में आ जाता था | पागल थी वो न खुद कुछ करती थी न मुझे करने देती थी | जहाँ भी हम जाते थे वहां के लोग हमारे मुरीद हो जाते थे | सृदुप्ती और मैं थे ही ऐसे क्यूंकि हमारे बोल चाल में अजीब सा जादू था | मुझे तो खुद पता ही नहीं चला कि कब में उसके जादू में आ गया और वो मेरे |

मैंने उसे कहा सुन न शादी करले मुझसे कसम से दोनों साथ में काम करेंगे | वो मजाक में इस बात को ताल देती थी और मैं भी क्यूंकि हम दोनों बहुत अच्छे दोस्त थे और हम दोनों एक दुसरे को सब बताते थे | मुझे तो ये भी पता था कि उसको कब पीरियड आएगा और मैं भी उसे बता देता था कि यार आज मुझे न रात में नंगे सपने आये और मेरा माल गिर गया | तो वो हस दिया करती थी और बोलती थी की मेरे साथ करले और गर्मी निकाल ले |

मैं भी कह दिया करता था हाँ आ आजा कर लू तो वो भाग जाती थी | मुझे बड़ा मज़ा आता था इस चीज़ में क्यूंकि ये चीज़ें आम बात नहीं है | किसी भी लड़की के साथ ऐसी बात करना मतलब खतरा ही है | पर वो अलग थी सबसे आज भी कहता हूँ कि उससे ज्यादा सही लड़की कोई नहीं थी | उसकी बात करने की स्टाइल और उसका जो नेचर था वो मुझे बहुत भा गया था | वो मेरा ऐसा ख्याल रखती थी जैसे मेरी बीवी हो और कभी कभी में उसकी गोद में ही सर रखके सो जाता था |

मुझे उसपे इतना विश्वास था की वो कभी मेरे साथ कुछ गलत नहीं करेगी क्यूंकि वो हमेशा मेरे लिए तैत्यार रहती थी और उसके घरवाले उतने अच्छे नहीं थे | वो हमेशा मुझसे कहती काश मैं तेरे घर पैदा होती और तू मेरे | तो मैंने कहा उसमे कोई दिक्कत नही है मेरे घरवाले तुझे बड़ा पसंद करते जब बोल तब शादी कर लूँगा तुझसे | उसने कहा यार मेरा बस चले तो मैं आज करलूं यार पर मेरे घर वाले कभी नहीं तैयार होंगे इस चीज़ के लिए |

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जैसे ही उसने ये कहा मैं एकदम से चोंक गया और बोला तू मुझसे शादी करने के लिए तैयार है | उसने कहा हाँ जान पहचान वाले कमीने से शादी करना बेहतर है न की किसी अनजान कुत्ते से | मैंने कहा धन्य हो तुम सृदुप्ती !!!!! कहाँ है आपके चरण लाओ उन्हें छू लूँ | वो बोली मेरे चरण नीचे है बेटा आओ छू लो तथास्तु !!!! फिर बोली देखना चरण छूते छूते कुछ और मत छू लेना | फिर मैंने कहा तू इधर आ और उसे गले लगा कर कहा बहुत प्यारी है तू हमेशा ऐसी ही रहना |

उसने कहा तू है न मेरे साथ तो मैं ऐसी ही रहूंगी | फिर उसके बाद एक गाँव में हमे भेजा गया जिसका नाम था मोहनिया | इस गाँव के बारे में क्या कहना हर तरफ हरियाली बहता हुआ झरना और उसी के पास हमारे लिए एक लकड़ी का घर बना हुआ था | वाह मज़ा ही आ गया था और वह लोग भी कम ही थे | मतलब पूरे गाँव में केवल १५० लोग होंगे और हमे यहाँ पूरा एक महिना रहना था |

ठण्ड का समय था और ये जगह किसी जन्नत से कम नहीं थी | मुझे लगा चलो इस बार मेरा सपना पूरा हुआ है और मुझे एक बहुत ही बढ़िया जगह पर भेजा गया है | सृदुप्ती भी बहुत खुश थी और कह रही थी सुन न मुझे ठंड लग रही है तुझसे चिपक के गरम हो जाऊं | मैंने कहा नहीं पहले मुझे इस जन्नत का मज़ा लेने दे तो वो बोली कि अकेले नहीं ले सकता तू मैं भी चलूंगी | तो मैंने कहा चल अब शाम का समय था और सूरज डूब ही रहा था तो मैंने मस्ती में झरने के पास ले जाकर उसे पानी में गिरा दिया और पानी बहुत ठंडा था |

वो कांपने लगी और मुझे अपनी गलती का एहसास हुआ | झरना ज्यादा गहरा नहीं था और पानी बिलकुल साफ़ था इसलिए वो कड़ी हुयी और एकदम से गिर गयी | मैंने उसे उठाया और रुकने की जगह पर ले गया | सारे लोग दुसरे घर में थे तो मैंने तुरंत ही आग जलाई और उसे गर्मी देने लगा | आधे घंटे तक उसे होश नहीं आया क दादा थे जो हमारे नौकर थे उन्होंने कहा गरम पानी में पैर रखो तो भी कुछ नहीं हुआ |

फिर वो बाबा मेरे पास आया और कहा बेटा इसे अब शारीरिक गर्मी की ज़रूरत है | मैंने कहा बाबूजी मैं कुछ समझा नहीं आप क्या कहना चाह रहे हैं | उन्होंने कहा इसके कपडे उतारो और अपने शरीर की गर्मी इसको दो | मैंने कहा क्या इससे ये ठीक हो जाएगी तो उन्होंने कहा पता नहीं पर हो सकता है हो जाये | पर ये भी हो सकता है कि तुम्हरी जान पे बन आये | मैंने कहा में तैयार हूँ और इतना बोलके उन्होंने और आग जला डी और कम्बल दे दिया और गद्दा भी बिछा दिया |

फिर वो चले गये | मैंने सृदुप्ती के कपडे उतारे और देखा क्या बड़े बड़े दूध थे उसके और फिर उसके बदन को देखा उफ्फ्फ्फ्फ्फ्फ्फ़ मैंने सोचा क्या किस्मत है | फिर मैंने उसकी चूत की तरफ नज़र घुमाई तो देखा एक दम छोटी और गुलाबी सी थी बिलकुल प्यारी सी | उसपे एक भी बाल नहीं था | सृदुप्ती के ऊपर बड़ा प्यार आया मुझे और दुःख भी हुआ की ये मेरी वजह से इस मुसीबत में है |

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फिर मैं उसके ऊपर लेट गया और ढांक लिया खुद को | दो घंटे तक मैं उससे चिपका रहा फिर उसे होश आया और वो कहने लगी क्या कर रहा है तू | तब मैंने उसे सारी बात समझाई और उसने कहा तूने मेरे लिए अपनी जान क्यों खतरे में डाली ? तो मैंने कहा मैं तुझे कुछ होते हुए नहीं देख सकता | तो वो मुझसे चिपकी और कहा काश तुझसे ऐसे ही चिपकी रहती | फिर उसने कहा सुन मुझे न और ठण्ड लग रही है मेरे दूध पी न ज़रा |

मैंने कहा जी और पीने लगा और वो थकी हुयी थी | तो उसने कुछ आवाज़ नहीं की | फिर उसने कहा सुन मेरी चूत में भी ठण्ड लग रही है उसे चाट न. तो मैंने बिना कुछ सोचे उसकी चूत चाटने लगा | उसने कम्बल को कस के पकड़ लिया और अह्ह्ह्हह्ह्ह्हह्ह उम्म्म्मम्म्म्मम्म्म्म आआह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह् ऊओह्हह्ह अह्ह्ह्हह्ह्ह्हह्ह उम्म्म्मम्म्म्मम्म्म्म आआह्ह्ह्ह्ह्ह्ह्ह् ऊओह्हह्ह करने लगी | फिर मैंने सोचा क्यूँ न इसकी चूत में लंड डाल दूँ तो मैंने उसे चोद दिया और लगातार एक महीने तक चोदा | तो दोस्तों ये थी मेरे दिल के करीब वाली कहानी | अपनी राय देना मत भूलियेगा दोस्तों |

 

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पड़ोस की आंटी और उनकी बेटी | hindisexstories.autocamper-service.ru //hindisexstories.autocamper-service.ru/youjizzmobileporn/maa-beti/pados-ki-aunty-aur-unki-beti.html //hindisexstories.autocamper-service.ru/youjizzmobileporn/maa-beti/pados-ki-aunty-aur-unki-beti.html#respond Tue, 22 Aug 2017 07:41:42 +0000 //hindisexstories.autocamper-service.ru/youjizzmobileporn/?p=9829 हेल्लो दोस्तों ! मै मनी आपका सेक्सी दोस्त और में फिर लौट आया हो एक नयी चुदाई कहानी के साथ जो एक महीने पहले मेरे साथ घटी है की कैसे मैंने अपनी पड़ोस की आंटी और उनकी बेटी को किस तरह चोदा और वो मुझ से रोज़ चुदवाने लगी. एक महीने पहले की बात है […]

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हेल्लो दोस्तों ! मै मनी आपका सेक्सी दोस्त और में फिर लौट आया हो एक नयी चुदाई कहानी के साथ जो एक महीने पहले मेरे साथ घटी है की कैसे मैंने अपनी पड़ोस की आंटी और उनकी बेटी को किस तरह चोदा और वो मुझ से रोज़ चुदवाने लगी.

एक महीने पहले की बात है मेरे पड़ोस की फ्रेंड सोनल मुझ से मिलने आई थी क्यूंकि में डेल्ही ट्रिप से लौटा था और में क्या गिफ्ट लाया था वो देखने के लिए वो मेरे घर आई थी और मेरे घर पर में अकेला था तब. क्यूंकि मेरे माँ और पापा सब बाहर गए थे और वो सामान अनपैक करने में मेरी हेल्प करने लगी.

और यह कोई आज की बात नहीं थी की वो अलमारी में मेरे कपडे लगाने हेल्प कर रही थी. वो मुझे हर काम में हेल्प करती थी. हम दोनों बचपन से ही बहुत अच्छे दोस्त थे. जब भी चोट लगती थी दर्द उसको होता था. और तभी कपडे अनपैक करते हुए मेरे सूटकेस में से मेरे कपडे निकालते हुए मेरा अंडरवियर उसके हाथ में आ गया और वो उसे सुंगने लगी.

उसे शायद ध्यान ही नहीं रहा की में भी वहा हु. और तभी मैंने गौर किया की वो मेरे अंडरवियर को स्मेल कर रही थी और साथ साथ ही अपनी पेंटी में उंगली डाल कर फिन्गेरिंग कर रही थी. मैंने उससे देखा और सीधे बोल दिया की क्या कर रही हो?

और वो एक दम हॉर्नी टाइप हो गयी थी. मैंने गले में टाई पहन रखी थी. तो वो अचानक से मेरे पास आई और मेरी टाई खोलने लगी और बोली की अपनी शर्ट उतारो. मैंने बोला क्या कर रही हो अभी कुछ नहीं प्लीज. तो उसने मेरा मुह बंद कर दिया और बोली की चुप एक दम. आज तक तुमने मुझे चुदाई करने नहीं दिया बस अब नहीं आज में अपनी चूत की प्यास बुझा कर रहूंगी.

और उसने धीरे धीरे मेरे सारे कपडे उतर दिए और मेरे लंड पकड़ कर हिलाने लगी. वो एक दम हॉर्नी सेक्स गॉडेस लग रही थी. उसकी उम्र सिर्फ १८ साल थी पर उसका फिगर देख कर कोई नहीं कह सकता पता नहीं कैसे बना था ३६- ३४- ३६ था. अब तो में भी गरम हो चूका था और मैंने भी उसका साथ देना शुरू कर दिया. क्यूंकि मुझे लग रहा था की मेरा रेप हो रहा है |

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अब मैंने भी उसके सारे कपडे उतार दिए. और उसे समुच करने लगा. वो बोली लेट्स डू फ्रेंच किस एंड वे हड डन किस अराउंड फॉर २५ मिनट्स और फिर शी इज सकिंग माय कॉक. पर इन् सब में हम भूल गए की मेरे घर का गेट खुला रह गया.

तभी उसकी माँ हमारे घर आ गयी. उन्होंने हमे इस हालत में पकड़ लिया. हम तो डर गए पर उसकी माँ बोली की अकेले अकेले तो हम शॉक हो गए. अब तो उसकी माँ भी हमारे साथ शामिल हो गयी और मैंने और भाविका ने उन्हें पूरा नंगा कर दिया. पर आपको एक बात बतायु निहारिका यानी भाविका की माँ, भाविका से जयादा यंग लगती है | आप ये कहानी मस्ताराम डॉट नेट पर पढ़ रहे है | निहारिका का फिगर है ३८- ३६-३४ .

यानी निहारिका के बूब्स हमारी सोसाइटी में सब से बड़े है. हमने उन्हें बहुत चूसा. ऐसा लग रहा था की भाविका के पापा उसकी मम्मी को संतुष्ट नहीं कर पाते. उसकी माँ की चूत में मैंने जैसे ही ऊँगली डाली वो एक दम गीली थी. मैंने भाविका और उसकी माँ को बहुत ही बुरी तरह से चाटा तो वो मेरी दीवानी सी हो गयी थी..

मैंने उस दिन उन् दोनों की खूब चुदाई की मैंने पहले उसकी माँ की चूत को चाटना शुरू किया तो भाविका बोली पहले मेरी चूत में अपना लंड डालो और वो भी बिना कॉन्डम के तो मैंने उससे कहा अगर बच्चा रह गया तो. इस पर वो बोली कोई बात नहीं आज से में तुम्हारी रंडी हु. फिर मैंने उसकी माँ की तरफ देखा तो वो भी कुछ नहीं बोली. बल्कि उन्हें खाना बनाना था मेरे और भाविका के लिए क्यूंकि मेरे पेरेंट्स बहार गए हुए थे. तो वो चली गयी और मैंने अपना लंड भाविका की चूत में घुसा दिया. भाविका की सील तोड़ने में मुझे बहुत मज़ा आया

में भी बहुत खुश था कितने सारे लोग मिल गए चुदाई करने के लिए.

भाविका और में चुदाई करके बेड पर साथ में ही सो गए. और जब में सो कर उठा तो निहारिका आंटी मेरा लंड चूस रही थी और भाविका सो रही थी. मुझे थोडा अजीब लग रहा था की माँ बेटी एक साथ. पर जब उन्हें ही कोई प्रॉब्लम नहीं तो मेरे को क्या… फिर मैंने भाविका को चुदाई के लिए उठाया और भाविका को किस करने लगा और फिर निहारिका आंटी को किस करने लगा. भाविका मेरे लंड से खलने लगी.

और फिर मैंने भाविका की चूत मरी. तो निहारिका आंटी बोली अब मेरी गांड की बरी . तुम अब मेरी गांड मरो.

मैंने जैसे ही लंड सेट कर निहारिका आंटी की गांड में डाला उनकी जोर जोर से आवाज़ आने लगी आआः आआह्ह्ह्ह अआः… वो बहुत जोर जोर से चिल्ला रही थी.

मैंने जोर का झटका देकर पूरा ७ इंच का लंड आंटी की गांड में घुसा दिया. वो जोर जोर से चीखी और लग भाग १० मिनट तक मैंने उनकी गांड मारी और भाविका बोली अब मेरी भी गांड मारो. मेरे को तो मज़ा ही आ गया और फिर उसकी भी गांड मारी. वो एक दम प्रोफेशनल रंडी लग रही थी.

मैंने रात ८ बजे तक उसके साथ सेक्स किया पर आंटी चली गयी थी क्यूंकि अंकल आ गए थे | आप ये कहानी मस्ताराम डॉट नेट पर पढ़ रहे है | भाविका मेरे यहाँ यह बोल कर रुक गयी की मेरी तबियत ठीक नहीं है और आज मेरे घर पर कपि नहीं है, में अकेला हु. हमने लगातार ७ घंटे तक सेक्स किया और वो पागल सी हो गयी थी. हमने फिर फ्रेंच किस किया और मेरे लंड को हाथ से हिलाने लगी वो अभी भी थकी नहीं थी पर मैंने कहा अब बस करो अब बाद में करेंगे.

पर वो तो मेरे लंड की दीवानी हो गयी थी तो रात को ३ बजे उठ कर बोली की किस मी किस मी. हमने आधे घंटे किस किया , उसके बूब्स चुसे और मैंने उसकी छुट को पूरा चाट डाला था और वो बहुत जल्दी वेट हो जाती थी. हमने ३ दिन लगातार सेक्स किया और फिर मेरे पेरेंट्स आ गए. अब हमे जब भी मौका मिलता है हम यानी मैं, निहारिका आंटी और भाविका जब भी मौका मिलाता हम सेक्स करते है |

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भाविका मुझ से रोज़ चुदने लगी है और वो अब अपनी कजिन को भी चुदाई करने के लिए मेरे पास लेकर आती है. . उन दिनों भाविका हमारी सोसाइटी की बहुत ही खूबसूरत लड़की थी. उसके बूब्स बहुत मस्त है. सोसाइटी में सब उसको चोदने के बारे में सोचते थे पर वो सिर्फ मुझ से प्यार करती है और मुझ से शादी करना चाहती है.

में तो बुरा फंस गया क्यूंकि आलरेडी मेरी एक गर्लफ्रेंड है प्राची और अब भाविका. पता नहीं क्या होगा. खैर जो होगा देखा जाएगा जब तक मजे ले सकते है तब तक तो लिया ही जाये |

अगर आपको ये मेरी सच्ची कहानी अच्छी लगे तो मेल जरुर करना  : [email protected]

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निकाह से एक दिन पहले तक गर्लफ्रेंड को चोदा | hindisexstories.autocamper-service.ru //hindisexstories.autocamper-service.ru/youjizzmobileporn/girlfriend/nikah-se-ek-din-pahale-tak-girlfriend-ko-choda.html //hindisexstories.autocamper-service.ru/youjizzmobileporn/girlfriend/nikah-se-ek-din-pahale-tak-girlfriend-ko-choda.html#respond Thu, 17 Aug 2017 04:10:11 +0000 //hindisexstories.autocamper-service.ru/youjizzmobileporn/?p=9753 निकाह से एक दिन पहले तक गर्लफ्रेंड को चोदा, अपने दांत मेरे बूब्स पर मत गडाओ वरना मैं अपने होने वाले पति को क्या जवाब दूंगी मासूमि अपनी आँखें बंद किये ही बोली मैं इस बात से सहमत था इसलिए मैंने दांत गड़ाना बंद कर दिया धीमे धीमे आराम आराम से मैं उसके दूध पीने और चूसने लगा उसे हल्का हल्का दर्द हो रहा था उतेज्जना भी हो रही थी और मजा भी आ रहा था

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हेल्लो दोस्तों मैं अब्राहम अंसारी मस्ताराम डॉट नेट का बहुत बड़ा प्रशंशक हूँ। कुछ सालों पहले मेरे एक दोस्त ने मुझे इस वेबसाइट के बारे में बताया था, तब से मैं रोज यहाँ की मस्त मस्त कहानियां पढता हूँ और मजे लेता हूँ। मैं अपने दूसरे दोस्तों को भी इसे पढने को कहता हूँ। पर दोस्तों, आज मैं नॉन वेज स्टोरी पर स्टोरी पढ़ने नही, स्टोरी सुनाने हाजिर हुआ हूँ। आशा करता हूँ की यह कहानी सभी पाठकों को जरुर पसंद आएगी। ये मेरी सच्ची कहानी है।

मैं नवादा में का रहने वाला हूँ। पिछले 4 सालों से मेरा मेहरा अंसारी से अफेयर चल रहा है। मैं उसको सैकड़ो बार चोद चुका हूँ, बड़ा करारा माल है मेहरा। वो बहुत गोरी और सुंदर है। 24 साल की एक जवान,आकर्षक नवयौवना है। उसका जिस्म बहुत ही छरहरा और सेक्सी है। बदन की खाल तो इतनी गोरी और मुलायम है की स्वर्ग की अफ़सराये भी उससे शर्मा जाए। उसके ओठ, मम्मे, रेशमी काले बाल, उसकी छरहरी कमर और चूत सब कुछ बहुत मस्त है। मासूमि को सेक्स करना बहुत पसंद है और वो मुझसे रोज चुदवाती है। मेहरा और मेरा प्रेम सम्बन्ध बहुत मस्त चला, पर अब वो 24 साल की हो गयी थी और उसके अब्बू को उसकी निकाह की टेंसन होने लगी थी। उसने मुझे बताया की उसके अब्बू निकाह करना चाहते है।

मैं एक दिन उसके साथ हमारे घर के पास ही एक मन्दिर में बैठा था। नवादा में यही फैशन था की प्रेमी जोड़े मन्दिरों में आकर इश्क लड़ाते थे, क्यूंकि प्यार तो उपर वाले की देन होती है। आज फिर से मेरा मेहरा को चोदने का बड़ा दिल कर रहा था। रात में बारिश हुई थी, इसलिए आज गर्मी कम हो गयी थी। मौसम बहुत ठंडा और सेक्सी था और आसमान में काले बादल छाए हुए थे। मन्दिर के पीछे बहुत ही सीमेंट की बेंच बनी हुई थी, जिसमे कई प्रेमी जोड़े साथ बैठे हुए थे। सभी अपनी अपनी माल को बाहों में भरकर रसीले होठ चूस रहे थे। मैंने अपनी सामान मेहरा को भी बाँहों में भर रखा था। मौसम ठंडा था, मेरा लंड बार बार खड़ा हो रहा था, दिल कर रहा था की अगर ये मन्दिर ना होता तो अपनी माल को यही गिराकर चोद लेता। पर मेहरा आज टेंशन में दिख रही थी।

“अब्राहम !…..मेरे अब्बू मेरी निकाह करना चाहते है, अगले हफ्ते मुझे देखने लड़के वाले आने वाले है!!” मेहरा ने बताया

“क्या….????” मैंने ह्थप्रथ था

पिछले ५ सालों से मैं मेहरा को चोद रहा था, खा पी रहा था, अगर इसकी निकाह हो गयी तो मुझे चूत कौन देगा, मैं सोचने लगा। इसके साथ ही मैं उससे सच्चा प्यार भी करने लगा था।

“अब्राहम, तुम अब्बू से बात करो ना, मेरा हाथ मांगो!!” मेहरा बोली

अगले ही दिन मैं उसके बाप से मिलने लगा। मेहरा का बाप शराब के ठेके चलाता था, होलसेल सप्लायर था। मैंने उसके बाप से कहा की मैं भी उसकी तरह ब्राह्मण हूँ और उसकी लड़की से निकाह करना चाहता हूँ,पर ये सुनकर बुड्ढा भड़क गया और पूछने लगा की मैं कितना कमाता हूँ। मैं कहा की अभी तो पढ़ ही रहा हूँ। फिर उसने मेरे अब्बू और धन दौलत और जमींन जायजात के बारे में पूछा। मैं मेहरा की तुलना में काफी गरीब था। और बात यही फस गयी।

“तुम मुझसे बहुत गरीब हो, एक गरीब घर में मैं अपनी लड़की की निकाह नही कर सकता!!” मेहरा का बाप मुझसे बोला और उसने निकाह करने से मना कर दिया। मैं ये सुनकर घर चला आया। मैंने मेहरा को बताया की उसके अब्बू ने निकाह से मना कर दिया। ये बात सुनकर वो बड़ी दुखी हुई, क्यूंकि वो मुझसे सच्चा प्यार करने लगी थी।

“अब क्या करे???” मेहरा बोली

“….जितने दिन बचे है हम दोनों को मजे ले लेना चाहिए!” मैंने कहा

वो मेरी बात से सहमत थी। मैं उसको अपने घर ले आया। मेरे घर में सिर्फ मम्मी थी, जो जादा किसी बात पर ध्यान नही देती थी। वो बहुत बुड्ढी थी और उनको साफ साफ दिखता भी नही था। मम्मी को मोतियाबिंद भी था। जब मैं मेहरा को लेकर घर पंहुचा तो मम्मी समझी की मेरा कोई दोस्त आया है। वो जान नही पायी की ये मेहरा थी। मैंने उसको बोलने से मना कर दिया, जिससे मम्मी समझे की मेरा कोई दोस्त आया है। मेहरा मेरे कमरे में आ गयी और मैंने दरवाजा अंदर से बंद कर लिया। मैंने मेहरा को कसकर पकड़ लिया और बिस्तर पर लिटा दिया। हम दोनों आपस में किस करने लगे। मैं उसके होठ पीने लगा। सच में मेरी माल बहुत गजब का सामान थी। इसकी निकाह हो जाए और ये अपने पति से चुदवाए,इससे पहले मुझे इसको जी भर के चोद खा लेना चाहिए, मैंने सोचा।

हम दोनों एक दूसरे से प्यार करने लगे और मजा मारने लगे। मैंने मेहरा का गुलाबी रंग का सलवार सूट निकाल दिया, फिर उसकी ब्रा और पेंटी भी निकाल दी। फिर मैंने अपनी जींस टी शर्ट उतार दी और पूरी तरह से नंगा हो गया। दोस्तों, मेरी माल मेहरा बहुत ही गजब की माल थी, उसके नंगे जिस्म को देखकर ही मेरा लौड़ा खड़ा हो जाता था। सच में वो बड़ी खूबसूरत माल थी। उसका एक एक अंग बहुत हसीन था। मैं उसके उपर लेट गया और उसके होठ पीने लगा। फिर मैं उसके सफ़ेद बड़े बड़े चुच्चो पर आ गया। ५ साल पहले उसके दूध बहुत छोटे हुआ करते थे, पर मैं ही रोज दबा दबाकर उसको लेता था, इसी वजह से उसके मम्मे बहुत बड़े हो गये थे। आज हम दोनों कसकर चुदाई करने वाले थे, क्यूंकि कुछ दिन बाद मेहरा की निकाह पक्की होने वाली थी।

मैं उसके दूध मुंह में भरकर पीने और चूसने लगा। हर बार की तरह इस बार भी उसके मम्मे बहुत सुंदर थे। मैं तेज तेज मुंह में भरकर अपनी सामान (मेहरा) की चूची पीने लगा था। मेरा लंड पूरी तरह खड़ा हो गया था और मेहरा की चूत मारने को बेक़रार था। मैं हपर हपर करके लपर लपर करके उसकी नुकीली नारियल जैसी दिखने वाली बेहद कमसिन चूचियों को मुँह में भरके पी रहा था। मासूमि के दूध इतने मुलायम मक्खन की तरह थे की मेरा दांत उसमे अपने आप गड़ जाते थे और निशान बन जाते थे। दोस्तों आप ये कहानी मस्ताराम डॉट नेट पे पढ़ रहे है।

“अब्राहम… मुझे चोद लो, मेरे मम्मे पी लो मगर भगवान के लिए…अपने दांत मेरे बूब्स पर मत गडाओ,वरना मैं अपने होने वाले पति को क्या जवाब दूंगी” मासूमि अपनी आँखें बंद किये ही बोली। मैं इस बात से सहमत था, इसलिए मैंने दांत गड़ाना बंद कर दिया। धीमे धीमे आराम आराम से मैं उसके दूध पीने और चूसने लगा। उसे हल्का हल्का दर्द हो रहा था, उतेज्जना भी हो रही थी और मजा भी आ रहा था. ‘अब्राहम …. आराम से मेरे नारियल चूसो!! आराम से मेरे जानम’ मेहरा बोली।

मेरा बस चलता तो मैं उसकी छातियाँ खा ही लेता। फिर मैं उसकी रसीली छातियों को अपने हाथों से जोर जोर से दबाने लगा और निपल्स पर अपनी जीभ फेरने लगा और पीने लगा। दोस्तों, बड़ी देर तक यही खेल चलता रहा। मेरी गर्लफ्रेंड सच में कमाल की जिस्म की मलिका थी। मैंने बड़ी देर तक उसकी नर्म नर्म छातियों का मदिरापान किया और सेक्स के नशे में आ गया। अब मैं उसकी चूत पर आ गया। मेरी नजर मेहरा के नंगे जिस्म पर पड़ी। १ जोड़ी सुंदर पाँव और उनकी गोल मटोल १० मेरा तो माथा ही घूम गया। मैंने सब कुछ छोड़ के उसके खूबसूरत पावों को चूम लिया। उनकी टाँगे बड़ी की चिकनी, चमकदार और गोरी थी.

मैंने उसकी दोनों टांगों को बारी बारी कई बार चूमा। मासूमि मुझे रोकने लगी, मैं चूत का भूखा कहाँ रुकनेवाला था। हम दोनों बिस्तर पर गुत्थम गुत्था होने लगे। हजारो बार मैं मासूमि को चोद चुका था, पर हर बार वो शर्म करती थी। मुझे उसका इस तरह से लाज करना बहुत पसंद था। जो लौंडिया शर्माती नही है,दोस्तों उसकी चूत मारने में जरा भी मजा नही आता है। मैंने मासूमि की बुर को एक बार झुककर चूम लिया तो उसके होश उड़ गए। वो शर्म से गड़ी जा रही थी।

“मासूमि!! इतनी शर्म करोगी तो कैसे चुदवाओगी ??” मैंने उसके कान में फुसफुसाकर कामुक अंदाज में कहा। बड़ी मुश्किल से उसने अपने दोनों हाथ हटाये और मुझे घुटने तक पहुचने दिया। उसके घुटने भी दुधिया गोरे रंग के थे। मैंने कुछ देर उसके रूप को निहारा और फिर दोनों घुटनों को चूम लिया। मासूमि की चूत की खुशबू मेरी नाक के नथुनों में आने लगी। “उफ्फ्फफ्फ्फ़….इसी रसीली बुर!!” जब टांगे, टखने, पैर इतने खूबसूरत है तो इन सब अंगों की रानी मेहरा की चूत कैसी होगी?? मैं मन ही मन सोचने लगा। मासूमि की मस्त गदराई जांघो के दर्शन हुए तो लगा की खुदा मिलने वाला है। उसकी जांघे खूब गोल गोल मांसल गदराई हुई थी। उसका सौंदर्य अभूतपूर्व था। भगवान से मेरी माल को बड़ी फुर्सत में बैठकर बनाया था।

फिर मैं उसकी चूत पर आ गया। मेरी गर्लफ्रेंड मेहरा से आज ही सायद अपनी झांटे बनाई थी। बिलकुल चिकनी और साफ चूत थी। चूत बहुत खूबसूरत थी दोस्तों। मैंने उसकी चूत की फांकों को खोल दिया। मैंने ही पिछले ५ सालों में इस बुर को चोद चोदकर फाड़ दिया था। मैंने अपने ओंठ मासूमि की चूत पर रख दिए और लपर लपर करके पीने लगा। क्या मस्त लाल लाल चूत थी। मैं उसके चूत के दाने को अपने अंगूठे से घिसने लगा। इससे मेहरा को बड़ी जोर की चुदास चढ़ने लगी। उसके पुरे बदन में मीठी मीठी तरंगे दौड़ने लगी। मैं जोर जोर से मेहरा के चूत के दाने को घिसने लगा।

“आह आह राजा……आआआआअह्हह्हह… अई…अई…….मेरी चूत को आज अच्छे से पी लो लो लो लो”मेहरा बोली। उसकी बात सुनकर मैं और जादा आनंदित हो गया था। मैंने उसकी जांघो को और कायदे से खोल दिया और उसका भोसड़ा दिल लगाकर पीने लगा। फटी हुई चूत की फांको को देखकर एक ख़ुशी हो रही थी की चलो उसकी निकाह से पहले मैंने उसको अच्छे से चोद लिया। इस बात की ख़ुशी थी। मैं अब उसकी चूत के होठो को पी रहा था और किसी कुत्ते की तरह चाट रहा था। मासूमि को बड़ा अच्छा लग रहा था, वो सिसकरी ले रही थी। मेरी खुदरी जीभ उसकी मुलायम और संवेदनशील बुर को तड़पा रही थी। मेरे ऐसी काम क्रीडाये करने से मेरी गर्लफ्रेंड को अजीब सा जुनून और नशा चढ़ रहा था। मैं इस वक़्त उसके साथ मुख मैथुन का आनंद उठा रहा था। मैं उसकी रसीली योनी को आज खा जाने वाला था। मेरी नुकीली जीभ उसकी चूत में अंदर तक घुस रही थी। ऐसा करने से मेरी गर्लफ्रेंड मासूमि कापने लगी और उसने मेरे हाथो को अपने हाथ में ले लिया और कसकर पकड़ लिया।

“अब्राहम…..मेरे यार, आराम से मेरी बुर पियो वरना मैं मर जाऊँगी!!” मेहरा सेक्स और वासना के नशे में अपनी आँखे बंद करके ही बोली। वो महान पल आ गया जब मैंने अपनी माल की चूत में लंड होले से अंदर सरका दिया। मेरी नजरों में मेहरा ने अपनी नजरें डाल दी। छिनाल को मैं घूरते घूरते ताड़ते ताड़ते पेलने लगा। मैं जोर जोर से अपनी कमर चला चलाकर उसे चोद रहा था। मेहरा को इस तरह आँखों में आँखें डालकर खाने में विशेष मजा और सुख मिल रहा था। मेरा लौड़ा किसी ट्रेन की तरह उसकी चूत की दरार में फिसल रहा था। बहुत अच्छे से चूत मार रहा था।

फिर मुझे बड़ी जोर की चुदास चढ़ी। बिजली की तेजी से मैं मेहरा को खाने लगा। इतनी जोर जोर से उसे चोदने लगा की एक समय लगा की कहीं उसकी बुर ही ना फट जाए। मेरे खटर खटर के धक्कों से मेरी गर्लफ्रेंड का पूरा जिस्म काँप गया। उसके चुचे हिलकर थरथराने लगे। मैं बिजली की तरह मेहरा को पेलने लगा। मुझे लगा रहा था की झड़ने वाला हूँ। पर ऐसा नही हुआ। मेरा मोटा सा लौड़ा मेरी सामान के भोसडे में झड़ने का नाम नही ले रहा था।

मैं बहुत देर तक मेहरा को चोदता रहा पर फिर भी नहीं झडा। मैंने लौड़ा झटके से निकाल लिया और उसकी गर्म गर्म जलती चूत को पीने लगा। वाकई ये के शानदार अनुभव था। कुछ देर बाद मेहरा की चूत ठंडी पड़ गयी थी। मेरे लौड़े की खाल पीछे को सरक आई थी। गोल गोल मुड़कर मेरे लौड़े की खाल पीछे आ गयी। मेरा सुपाडा अब गहरे गुलाबी रंग का हो गया था। मेरे लौड़े का रूप ही बदल गया था मेहरा की बुर चोदकर।

अब मेरा लौड़ा किसी बड़े उम्र के आदमी वाला लौड़ा दिख रहा था। मैं कुछ देर तक अपना लौड़ा देखता रहा फिर मैंने मेहरा की छोटी सी चूत में डाल दिया। फिर से मैं उसे चोदने लगा। इस बार मैंने बिना रुके उसे काई मिनट तक चोदा क्यूंकि एक बार भी मैं रुकता या आराम करता तो माल उसके भोसड़े में नही गिरता। अनेक अनगिनत धक्को के बीच चट चट की मीठी आवाज के साथ मैं अपनी गर्लफ्रेंड की चूत में शहीद हो गयी। उसके बाद हम दोनों लेटकर किस करने लगे और प्यार करने लगे। दोस्तों आप ये कहानी मस्ताराम डॉट नेट पे पढ़ रहे है।

एक बार मेहरा की चूत मैंने मार ली थी। इसी बीच उसके अब्बू का फोन आ गया और उसे जाना पड़ा। अगले हफ्ते लड़के वाले मेहरा को पसंद कर गये। २ महीने बाद की निकाह की तारिक निकली। मैं थोड़ा उदास भी था की जिस माल को रोज जुगाड़ करके चोद लेता था, अब उसकी निकाह होने वाली है। मैं तो सिर्फ मेहरा की चूत का प्यासा था, पर शायद वो मुझसे सच्चा प्यार करने लगी थी। हमारी अगली मुलाक़ात राधे रेस्टोरेंट में हुई। मेहरा बहुत रो रही थी और बहुत मोटे मोटे आंसू बहा रही थी।

“अब्राहम….काश तुम अमीर घर के होते तो अब्बू मुझसे तुम्हारी निकाह करने को जरुर तैयार हो जाते!!” मेहरा रोते हुए बोली

“….तू अगर मुझसे सच्चा प्यार करती है तो बोल तुझे भगा ले चलूँ!!” मैंने कहा पर भागने के लिए मेहरा तैयार नही हुई। क्यूंकि वो अपने घर वालों को, भाई बहनों को बहुत प्यार करती थी। निकाह के ठीक एक दिन पहले मेहरा मेरे घर पर आ गयी।

“अब्राहम….कल मेरी निकाह हो जाएगी, इसलिए आज ही तुम मुझे चोदकर मेरे साथ सुहागरात मना लो!!”मेहरा बोली

उसके बाद हम दोनों से अपने अपने कपड़े निकाल दिए। वो आज मुझसे खुद ही चुदवाना चाहती थी, क्यूंकि कल उसकी निकाह थी। मैंने उसको घोड़ी बना दिया और पीछे से उसकी रसीली चूत मैं चाटने लगा। उसके संगमरमरी पुट्ठों को मैं होठों से चूमता रहा। फिर मैंने पीछे से लंड डालकर उसको २ घंटे चोदा। अब उसकी निकाह हो चुकी है। मेरी गर्लफ्रेंड अब मेरे पास नही है, पर उसकी यादे आज भी मेरे दिल में कैद है। कहानी आपको कैसे लगी, अपनी कमेंट्स मस्ताराम डॉट नेट पर जरुर दे।

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हैल्लो दोस्तों, मेरा नाम नोवा है, मेरा लंड 8 इंच लंबा और 3 इंच मोटा है, वैसे में इस साईट पर रेग्युलर स्टोरी पढ़ता हूँ इसलिए आज में अपनी स्टोरी तुम सबके साथ शेयर करने जा रहा हूँ. ये मेरा पहला अनुभव है. अब में आपको ज्यादा बोर ना करते हुए सीधा स्टोरी पर आता हूँ. में में रहता हूँ और लुधियाना में पढाई करता हूँ.

एक दिन में अपने इंस्टीट्यूट जा रहा था और अपने मोबाईल पर में गाने सुन रहा था कि तभी अचानक से एक लड़की से मेरी टक्कर हो गई, तो उसकी सारी बुक्स गिर गई. तो मैंने उसको देखा तो देखता ही रह गया, वो बहुत ब्यूटिफुल दिख रही थी. फिर मैंने उसकी बुक्स उठाने में मदद की और उससे सॉरी बुला. तो उसने भी मुझसे सॉरी कहा और वो मुस्कुराई और चली गई.

फिर अगले दिन वही लड़की मुझे फिर से आती दिखी तो मैंने भी उसे स्माइल की, तो उसने भी स्माइल की और चली गई. फिर इस तरह से कई दिनों तक यही चलता रहा. फिर एक दिन मैंने हिम्मत करके उससे बात की, तो मैंने उससे पूछा कि आप रोज स्माइल क्यों करती हो? तो वो कुछ नहीं बोली. तो मैंने उससे उस दिन टक्कर पर फिर से सॉरी बोला.

यारो यकीन नहीं मानोंगे कि उसकी आवाज इतनी प्यारी थी कि में सुनता ही रह गया था, उसने कहा कि इट्स ओके. फिर मैंने थोड़ी हिम्मत करके उससे आगे बात करनी स्टार्ट की. फिर मैंने उससे पूछा कि तुम यहाँ क्या करती हो? तो उसने कहा कि वो एक एयरहोस्टेस है और यहाँ साउथ लुधियाना के एक एयरहोस्टेस इंस्टीट्यूट से कोर्स कर रही है. तो फिर मैंने भी अपना परिचय दिया, में भी इंस्टीट्यूट से कोर्स कर रहा हूँ. फिर हम चलते-चलते बातें करने लगे.

फिर मैंने उसका नाम पूछा, तो उसने अपना नाम भारती बताया. फिर इस तरह से हम काफ़ी दिन तक मिलते रहे और फिर हम दोनों ने अपने मोबाईल नंबर एक दूसरे को दे दिए और काफ़ी देर तक बातें करते रहते और काफ़ी जगह घूमने जाते थे. फिर एक दिन उसने मुझे कॉल किया और कहा कि आज मेरी क्लास जल्दी ख़त्म हो गई है, तो तुम आ जाओ, घूमने चलते है.

मैंने अपनी बाइक निकाली और चला गया. अब में उसके इंस्टीट्यूट के बाहर उसका इंतजार कर रहा था कि मैंने देखा कि वो एयरहोस्टेस की ड्रेस में बाहर आई. फिर में उसको देखता ही रह गया, उसने एयरहोस्टेस की हाफ स्कर्ट पहन रखी थी और उसकी गोरी-गोरी टांगे दिख रही थी. अब में तो उन्हें देखता ही रह गया था. वो बहुत ब्यूटिफुल लग रही थी. फिर वो मेरी बाइक पर बैठ गई. फिर मैंने उससे पूछा कि कहाँ चलना है? तो वो बोली कि कही मॉल में चलते है, तो में उसे एक प्लाज़ा में ले गया.

अब हमें वहाँ पहुँचने में करीब 25 मिनट लगे थे. अब वो बाइक पर मुझे कसकर पकड़कर बैठी थी. अब मुझे बहुत मजा आ रहा था. अब में बार-बार ब्रेक मार रहा था. अब हम वहाँ पर पहुँच गये थे और घूमने लगे थे, तो मैंने देखा कि वहाँ पर काफ़ी कपल घूम रहे थे और वो हमें बार-बार देख रहे थे, क्योंकि वो लग ही रही थी सेक्सी. अब में भी इस बात को महसूस कर रहा था, शायद उसे भी ये बात पता होगी और फिर लास्ट में हम अंसल के गार्डन में चले गये. अब वहाँ काफ़ी कपल बैठे थे और एक दूसरे के किस और हग कर रहे थे और फिर हम उन सबको देखकर आगे चले गये.

तभी उसने आगे जाकर कहा कि ये सब क्या कर रहे है? तो मैंने कहा कि एक दूसरे को प्यार कर रहे है. फिर मैंने सही टाईम का फ़ायदा उठाकर उसे प्रपोज कर दिया, मैंने कहा कि भारती आई लव यू, में तुमसे ये बात काफ़ी दिन से कहना चाहता था, लेकिन कह नहीं पाया. फिर वो कुछ देर तक तो चुप रही और फिर बोली कि अब हमें चलना चाहिए. फिर हम बाइक पर बैठे और अपने-अपने घर आ गये. दोस्तों आप ये कहानी मस्ताराम डॉट नेट पे पढ़ रहे है।

अब मुझे तो काफ़ी डर लग रहा था कि उसने बुरा तो नहीं मान लिया और फिर मैंने उसे कॉल भी नहीं किया, ताकि वो और बुरा ना मान जाए. फिर रात में 1 बजे उसका कॉल आया, तो में देखता ही रह गया. फिर मैंने कॉल अटेंड की और हैल्लो बोला, तो उसने कुछ नहीं बोला.

मैंने उससे सॉरी कहा और साफ-साफ कह दिया कि जो मेरे दिल में बात है मैंने वो कह दी थी, तो मैंने फिर से उससे पूछा कि डू यू लव मी? तो वो कुछ देर के बाद बोली कि तुम्हें क्या लगता है कि एक लड़की इतनी रात को 1 बजे कॉल क्यों करेगी? तो में समझ गया बात क्या है? तो उसने मुझसे आई लव कह दिया. फिर में इतना खुश हुआ कि क्या बताऊँ? यारो कि जैसे मुझे कोई परी मिल गई हो, अरे वो भी तो परी है एयरहोस्टेस की.

फिर आख़िर में हम दोनों ने करीब घंटे 2 तक बातें की और फिर सो गये और फिर हमने अगले दिन मिलने का प्रोग्राम बनाया. फिर अगले दिन हम मिले, तो उसकी आँखे कुछ झुकी थी. फिर मैंने कहा कि इसमें शरमाने की क्या बात है? तो वो कुछ नहीं बोली और बाइक पर बैठी और फिर हम वहाँ से प्लाज़ा की और निकल गये. फिर वहाँ पहुँचते ही मैंने बाइक पार्क की और उसका हाथ अपने हाथ में लेकर चलने लगा. अब उसे भी काफ़ी अच्छा लग रहा था.

हम रेस्टोरेंट में गये और वहाँ बर्गर खाया और कोक पी और फिर बातें करने लगे. फिर उसने कहा कि चलो गार्डन में चलते है. फिर मैंने कहा कि ठीक है और फिर हम गार्डन में गये. अब वहाँ पर फिर से वही सीन था कि कपल एक दूसरे को किस और हग कर रहे थे. फिर हम एक अच्छी सी जगह जाकर बैठ गये और बातें करने लगे. फिर उसने बात करते-करते पूछा कि तुमने उस दिन क्या कहा था? तो मैंने पूछा कि क्या? तो उसने कहा कि ये सब लव कर रहे है. फिर मैंने कहा कि सही तो है. तो उसने कहा कि तुम कुछ नहीं करोंगे? अब में उसकी ये बात सुनते ही चौंक गया था, अब में जोश में आ गया था.

फिर मैंने उसे खड़ा किया और हग करने लगा, तो उसने भी मुझे कसकर पकड़ लिया. अब मैंने फिल्म स्टाइल में उसके चेहरे को अपने हाथ से जोर से पकड़ लिया था और किस करने लगा था. अब वो भी मुझे किस करने लगी थी. फिर हम लगभग 10 मिनट तक किस करते रहे. फिर में थोड़ी हिम्मत करके अपना एक हाथ धीरे-धीरे नीचे उसके बूब्स पर ले गया और बिल्कुल आराम से दबाने लगा.

वो कुछ नहीं बोली और आह ऑश की आवाज निकाल रही थी और गर्म भी हो गई थी. फिर तभी इतने में वहाँ एक लेडी सिक्यूरिटी गार्ड, जो गार्डन में राउंड लगाती थी आ गई और फिर हम अलग हो गये और फिर हम वहाँ से चले गये. फिर कई दिन तक यही चलता रहा और काफ़ी टाईम तक मोबाईल पर सेक्सी बातें करते थे. अब इस तरह से काफ़ी दिन गुजर गये थे, बस अब में तो मौके की तलाश में था, लेकिन मुझे मौका मिल नहीं रहा था.

फिर आख़िर में मुझे एक मौका मिल गया. फिर एक रात को उसका फोन आया और बोली कि नोवा कल मेरे मम्मी पापा जयपुर जा रहे है और 2 दिन के बाद आएँगे, तो में खुश हो गया. अब मुझे तो इसी टाईम का इंतज़ार था. फिर अगले दिन उसने फोन किया और कहा कि नोवा तुम 11 बजे मेरे घर आ जाना, क्योंकि मेरे मम्मी पापा 9 बजे निकल जाएगें.

मैंने कहा कि ठीक है. फिर में तैयार होकर ठीक 11 बजे उसके घर पहुँच गया. फिर दरवाजा खोलते ही जब मैंने उसको देखा तो यारों में तो उसको देखता ही रह गया. उसने पिंक कलर का टॉप और स्कर्ट पहन रखी थी, जिसमें वो बिल्कुल सेक्सी और हॉट लग रही थी. फिर उसने मुझे अंदर बुलाया तो में अंदर जाकर सोफ़े पर जाकर बैठ गया.

फिर वो मेरे लिए पानी लेकर आई और झुककर मुझे जैसे ही पानी देने लगी तो मुझे उसके बूब्स बहुत बड़े-बड़े दिख रहे थे. अब में तो उनको देखकर पागल हो गया था. फिर मैंने किसी तरह से अपने आप पर कंट्रोल किया और पानी पिया. फिर हम दोनों बातें करने लगे. फिर बातें करते-करते वो मुझे अपने रूम में ले गई. फिर जैसे ही हम रूम में पहुँचे, तो उसने मुझे किस करना स्टार्ट कर दिया और मैंने भी उसे किस करना स्टार्ट कर दिया. फिर इस तरह से हम करीब 20 मिनट तक किस करते रहे. फिर 20 मिनट के बाद वो बोली कि सिर्फ़ किस ही करते रहोगे या कुछ और भी करोगे. तो ये सुनते ही में गर्म हो गया और किस करते हुए उसके बूब्स दबाने लगा.

अब उसके बूब्स दबाते हुए मेरा एक हाथ धीरे-धीरे नीचे जाने लगा था. फिर में अपना एक हाथ उसकी स्कर्ट में डालते हुए उसकी चूत पर पहुँच गया था. अब वो पूरी तरह से मदहोश हो गई थी और उसकी चूत पूरी गीली हो गई थी. अब में अपनी उंगली उसकी चूत में धीरे-धीरे अंदर बाहर कर रहा था और अपने एक हाथ से उसके बूब्स दबाए और किस किए जा रहा था. अब वो पागल हुई जा रही थी. अब मैंने उसके सारे कपड़े धीरे-धीरे उतार दिए थे और अब वो बिल्कुल नंगी हो गई थी, क्या बताऊँ यार नंगी में वो बिल्कुल सेक्सी और हॉट लग रही थी? और उसका गोरा बदन तो मानों एकदम दूध जैसा हो. अब मुझसे कंट्रोल नहीं हो रहा था.

फिर मैंने उसे उठाया और बेड पर ले गया. फिर बेड ले जाते ही मैंने उसे अपना लंड दिखाया. तो वो डर गई और कहने लगी कि में इतना बड़ा और मोटा कैसे ले पाऊँगी? और कहने लगी कि उसकी चूत तो इतना मोटा लंड नहीं सह पाएगी और फट जाएगी.

मैंने कहा कि डरो मत, पहली बार में थोड़ा दर्द होगा और फिर उसके बाद में नहीं होगा, लेकिन अब वो मना कर रही थी, तो मैंने कुछ नहीं देखा और अपना लंड उसके मुँह में डाल दिया और कहने लगा कि चूस. अब वो मना कर रही थी, लेकिन मैंने उसे किसी तरह से मनाया तो वो मान गई और मेरा लंड चूसने लगी. दोस्तों आपको यकीन नहीं होगा कि वो मेरे लंड को ऐसे चूस रही थी जैसे मानो कोई लॉलीपोप हो और अब उसे भी बहुत मजा आ रहा था. अब में झड़ गया था और मैंने अपना सारा माल उसके मुँह पर ही डाल दिया था. अब वो उसे चाटने लगी थी और कहा कि अब मेरा लंड उसकी चूत में जाएगा.

फिर मैंने अपना मोटा लंड उसकी चूत में डाला, तो वो चिल्लाई, तो मैंने उसके लिप्स पर अपने लिप्स रख दिए और एक जोर का झटका मारा. अब उसकी आँखों में से पानी आने लगा था और वो कहने लगी कि प्लीज मुझे छोड़ दो तो में कहने लगा कि अभी कुछ देर दर्द होगा और फिर उसके बाद में नहीं होगा. अब में जोर-जोर से झटके मारने लगा था.

अब उसकी चूत में से खून आ रहा था, लेकिन अब उसे भी मजा आ रहा था. फिर करीब 1 घंटे तक मैंने उसे लगातार चोदा और फिर उसके बाद में उसकी गांड भी मारी. अब हमें काफ़ी मजा आ रहा था. फिर इस तरह से मैंने उसको 2 दिन तक नॉन स्टॉप चोदा और उसकी चूत और गांड फाड़ डाली. अब उसे भी मुझसे चुदवाने का शौक हो गया था और फिर इस तरह से उसे जब कभी भी कोई मौका मिलता, तो में उसे खूब चोदता और हम दोनों खूब मजा करते थे.

 

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