मैं मिसेज़ पिंकी सेन हूँ ३३ साल की एक खूबसूरत शादीशुदा औरत हूँ , मुझे शादीशुदा नंगे मर्द बहुत अच्छे लगते है और उनसे भी ज्यादा अच्छे लगतें है उनके बड़े मोटे मोटे लंड जो की मुझे नंगी देखते ही टन टना उठते है मैं तीन चीजों से बहुत प्यार करती हूँ लंड , लंड और लंड वैसे तो मेरे पास अपार संपत्ति है लेकिन मेरी सबसे बड़ी संपत्ति है मेरी बड़ी बड़ी सुडौल गुलाबी चूंचियां और कसी कसी गद्देदार चिकनी चूत मैं रात को १० बजे से लगाकर सुबह ६ बजे तक एकदम नंगी रहती हूँ और मेरे साथ रहते है कई पराये नंगे नंगे मियां और उनकी बेशरम बिंदास नंगी नंगी बीवियाँ मेरे आखों के सामने रात भर लंड ही लंड रहते है और मेरे मियां के सामने चूत ही चूत , चूंचियां ही चूंचियां । रात भर का नंगा नाच, बीवियों की अदला बदली करके नंगी चुदाई , लंड के नंगे कारनामे , नंगी नंगी चूंचियों का हिलना और उछलना , नंगी नंगी अश्लील बातें आदि सबको दीवाना बना देती है मेरे सामने देशी विदेशी तरह तरह के लंड होते है जैसे काले, गोरे, लंबे, मोटे, टेढ़े, कटे हुए मुस्लिम लंड, गोल सुपाडे वाले, अंडाकार सुपाडे वाले , झांट वाले, बिना झांट वाले ,छोटे पेल्हड़ वाले, बड़े पेल्हड़ वाले वगैरह वगैरह इसमे सभी जाति धर्म के लंड होते है जैसे हिंदू लंड मुस्लिम लंड क्रिस्चियन लंड सिख लंड आदि , इसी तरह बड़ी बड़ी चूंचियों वाली, बड़े बड़े चूतडों वाली,, बड़ी बड़ी आखों वाली, मजेदार चूत वाली, झाटू चूत वाली बिना झांट की चूत वाली, आगे, पीछे, खड़े, लेटे ,ऊपर, नीचे सभी तरह से बिंदास चुदवाने वाली बीवियाँ होती है एक तरफ़ मेरी सहेलियों और उनके मियां दूसरी तरफ़ मेरे हसबैंड की दोस्त और उनकी बीवियाँ इतने सारे नंगे नंगे लोगों के साथ शुरू होता है चुदाई समारोह परायी बीवियों की चूंचियां उनकी चूत और फ़िर चिपका चिपका कर चोदना, पराये मर्दों के लंड और फ़िर उनसे चिपक चिपक कर चुदवाना ऐसी मस्ती और ऐसी एयासी और कहाँ मिलेगी ? अब मैं आपको थोड़ा अपनी पिछली जिंदगी के बारे में बताना चाहती हूँ | हजारो कहानियां है मस्तराम डॉट नेट पर | शादी के पहले मैं न्यूयार्क में थी वहीँ जवान हुई और कॉलेज की पढ़ाई की उसी समय मैंने सेक्स की आज़ादी मिलने के कारन कई अनुभव कर लिए मेरे अन्दर लड़कों से अकेले में मिलने की चाहत बढ़ने लगी और सबसे पहले मैंने अपने एक बॉय फ्रेंड का लंड पकड़ा उसके बाद मुझे लंड पकड़ना अच्छा लगने लगा मैं जिसका लंड पकड़ती वह मेरी चूंचियां जरुर पकड़ता इससे मुझे और मज़ा मिलने लगा फ़िर मैंने एक प्राईवेट स्कूल ज्वाइन कर लिया जिसका नाम था सकिंग एंड फकिंग स्कूल मैं जब पहले दिन क्लास में बैठी तो देखा की सब लड़के लड़कियां जोड़े से बैठे है खैर मैं अकेले बैठ गयी इतने में मैंने दांयी ओर देखा कि मेरे बगल के लड़के का लंड उसकी पैंट के बाहर निकला है और उसके बगल में बैठी लड़की ने लंड पकड़ कर मुठिया रही है और लड़का उसकी चंची दबा रहा है फ़िर बायीं ओर देखा तो वहां भी यही था लड़के का लौडा बाहर लड़की कि चूंची बाहर तब मुझे किसी ने बताया कि लड़के पैंट के अन्दर कुछ नही पहनते और जिप खोल कर बैठते है ताकि लड़की लौडा आसानी से निकाल सके टीचर सामने बैठे पढ़ा रहा था | आप यह कहानी मस्तराम.नेट पर पढ़ रहे है | टाई लगाये था थोडी देर में टीचर उठ खड़े हुए तो मैं उन्हें देख कर दंग रह गयी उसने नीचे कुछ नही पहना था उसका लौडा एकदम खड़ा था सब उसका लौडा देख रहे थे इतने में एक नंगी लड़की मेज के नीचे से निकली सबके सामने टीचर का लंड पकड़ कर मुट्ठ मारने लगी यह देख कर सभी लड़के उठ खड़े हुए उनके लंड खड़े थे फ़िर लड़कियों ने अपने अपने बगल के लड़कों के लंड का मुट्ठ मारा दूसरे दिन मैंने भी एक लड़के का लंड पकड़ा और उसी तरह मुट्ठ मारा एक हफ्ते के बाद मैंने देखा कि टीचर के साथ एक लेडी टीचर आयी वह आते ही नंगी हो गयी उसको देखकर सभी लड़कियां नंगी हो गयी और मैं भी उस लेडी टीचर ने सर को नंगा कर दिया और लंड पकड़ लिया उसके बाद सभी लड़कियों ने लड़कों को नंगा कर दिया और लंड पकडे मैंने भी एक लड़के का लौडा पकड़ा लेडी टीचर लंड को चूसने लगी तो सभी लड़कियां लड़को का लंड चूसने लगी टीचर जब झडा तो लेडी टीचर ने सारा सीमेन चूस लिया उसको देखकर लड़कियों ने भी लंड का रस चूस लिया तीसरे हफ्ता सब लड़के लड़किया नंगे नंगे क्लास में आए और टीचर लेडी टीचर दोनों नंगे थे पहले तो चूंची व लंड की चुसाई की गयी फ़िर टीचर ने अपना लंड उसकी बुर में पेल दिया और चोदने लगा उसको देखकर लड़के लड़कियों को चोदने लगे उस दिन पहली बार मेरी चूत में लंड घुसा था और मैं बड़े मजे से चुदवा रही थी तब बड़ा मज़ा आया था सब के सामने चुदवाने में उन्ही लड़कों में एक था सैंडी उसका लौडा मुझे सबसे ज्यादा पसंद आया लेकिन बहुत दिनों तक नही रहा और स्कूल छोड़कर भाग गया पर उसका लंड मैं हमेसा याद करती रही एक दिन मुझे एक रेस्टोरेंट में दिखायी पड़ गया मैं उसे अपने घर ले आयी और मौका पाते ही उसका लंड पकड़ लिया फ़िर बड़े प्रेम से चुदवाया धीरे धीरे मुझे मालूम हुआ की वह भी इंडिया का है तो मैं और चिपक गयी आखिरकार मैंने उससे शादी कर ली इनका नाम है जिग्नेश शादी के बाद हम दोनों इंडिया मुंबई में आ गए कुछ दिन के बाद हमदोनो में नीरसता आने लगी फ़िर हमने सोचा की कुछ किया जाए और इसतरह हम इंटरनेट पर बैठ गए | आप यह कहानी मस्तराम.नेट पर पढ़ रहे है | इसी बीच एक कपल हमारे पास आने जाने लगा उनका नाम था अमर और उसकी बीवी चादनी दोनों जवान उनकी शादी के केवल दो साल हुए थे मैंने जिग्नेश से कहा तो उसका ध्यान गया और उसने गौर से चादनी की चूंचियां देखीं उसका मन चादनी को चोदने का हो गया इधर मेरा भी मन अमर का लंड पकड़ने का हो रहा था एक दिन मैंने उनदोनो को बुलाकर कहा की कल आपलोगों का डिनर है और सेक्स पार्टी भी चादनी ने तुंरत पूंछा की सेक्स पार्टी का मतलब क्या है मैंने कहा यह कल ही बताया जाएगा दूसरे दिन वे दोनों आ गए मैंने पहले व्हिस्की का गिलास दोनों को दिया और फ़िर सिगरेट मैंने देखा की अमर और चादनी दोनों शराब के साथ सिगरेट भी पीने लगे मुझे लगा दोनों बिंदास है धीरे धीरे बातें सेक्स की होने लगी मैंने कहा’ यार, मैंने तो शादी के पहले ही सेक्स का मज़ा ले लिया था ‘ चादनी ने कहा ‘तो इसमे क्या आजकल तो सब ले ही लेते है मैंने तो शादी के पहले कई लड़कों का पकड़ा था’ इसके जबाब में जिग्नेश ने पूंछा क्या ‘ चादनी, क्या पकड़ा था आपने ? ‘ उसने बड़े बेबाक से उत्तर दिया ‘लंड और क्या ‘ मैंने कहा ‘ अच्छा यह बताओ की किसका लंड ज्यादा पसंद आया तुम्हे ? ‘ चादनी बोली ‘ देखो लंड तो मुझे सभी के पसंद आए लेकिन दो लंड जो ८’ से भी बड़े थे और मोटे थे ज्यादा अच्छे लगे ‘ तभी चादनी मुझसे पूंछ बैठी ‘ अच्छा तुमको कैसा लौडा चाहिए ? ‘ मैंने कहा ‘ अच्छा, मैं जैसा लंड बताऊंगी क्या तुम वैसा दिलवा दोगी ?’ उसने कहा ‘ हां दिलवा दूंगी ‘ मैंने तुंरत कहा ‘अच्छा सबसे पहले तुम अपने हसबैंड का लंड मुझे देदो ‘ चादनी तुंरत मान गयी और बोली ‘ हां ठीक है लेलो उसकी पैंट खोलो और लौडा हाथ में लेलो मुझे कोई ऐतराज नही है लेकिन एक शर्त है ‘ मैंने कहा ‘क्या शर्त है ‘ चादनी ने बड़े प्यार से कहा ‘ फ़िर मैं भी तेरे हसबैंड का लौडा लूंगी ‘ मैंने कहा ‘ मंजूर है
मैं अमर के पास गयी और उसकी पैंट खोलने लगी तब अमर बोल पड़ा पिंकी भाभी पहले मैं आपके कपडे खोलूँगा हम लोग तो नसे में थे ही मैंने कहा खोल दो मुझे पूरी नंगी कर दो मेरी नंगी नंगी चूंचियों पर अमर हाथ फेरने लगा फ़िर मैं धीरे से नीचे झुकी और पैंट खोल डाली पैंट खुलते ही लंड उछल कर मेरे हाथ में आ गया मैंने उसे मुठ्ठी में लिया और सहलाने लगी थोडी देर में लंड एक बड़ा भारी लौडा बन गया मैंने कहा हाय रे इतना बड़ा लंड ये तो मेरे हसबैंड के लंड जैसा है तबतक चादनी मेरे हसबैंड का लौडा खड़ा कर चुकी थी वह लंड पकड़ कर मेरे हसबैंड को पास ले आयी अब दोनों लंड आमने सामने थे दोनों एकदम बराबर बस थोड़ा फरक था सुपाडे में इसी तरह मेरी और चादनी की चूंचियों में भी थोड़ा ही अन्तर था | हजारो कहानियां है मस्तराम डॉट नेट पर | मैं अमर का लंड चूसने लगी और चादनी जिग्नेश का फ़िर मैंने लौडा चूत में पेला और लगी भकाभक चुदवाने मेरे सामने चादनी मेरे हसबैंड से चुदवाने लगी फ़िर हमने लौडे पर बैठ कर चुदवाया लेट कर खड़े होकर और पीछे से भी चुदवाया उन दोनों ने हम दोनों की चूंचियां भी खूब चोदी मैंने कहा आज मुझे न्यूयार्क जैसी चुदाई का मज़ा मिला है मेरे हसबैंड को भी एक अच्छी चूत चोदने को मिली यह सुनकर चादनी बहुत खुश हुई बोली अरे यार तुम चिंता मत करो अब तुमको कई बड़े बड़े लंड मिल जायेंगे चुदाई होने बाद हमसब नंगे नंगे ही बैठ गए इतने में चादनी बोली पिंकी ज़रा टी वी ओं करो मैंने जैसे ही टी वी खोला उसमे हम दोनों की अदला बदली की चुदाई की फ़िल्म आने लगी मैंने टी वी पर भी दोनों लंड एक साथ देखा और ख़ुद को चुदवाते हुए देख कर बड़ा मज़ा आया तब चादनी ने कहा की मैंने इस चुदाई का वीडियो बना लिया है मैं तो सुनकर सन्न रह गयी. आप यह कहानी मस्तराम.नेट पर पढ़ रहे है | तब उसने बताया की जब मेरा हसबैंड तुम्हारे कपडे उतारने के लिए उठा था तभी मैंने एक खुपिया कैमरा फिट कर दिया था और इस तरह चुदाई की पूरी फ़िल्म बन गयी दूसरे दिन चादनी ने यह वीडियो अपनी किटी पार्टी में सबको दिखा दिया इतने बड़े बड़े दो दो लंड देखकर सभी औरतें चुदासी हो गयी एक तो बोली मुझे अभी इसी समय ये दोनों लंड चाहिए मैं बगैर चुदवाये घर नही जाऊंगी चादनी ने कहा आप लोग सब अपने अपने हसबैंड को लेकर आओ और फ़िर यहीं पर एक दूसरे की बीवियों की चुदाई की जाए और फ़िर पकडो प्रेम से एक दूसरे के मियां के लंड फ़िर तो वैसा ही किया गया अब इस किटी पार्टी में १० लंड १० चूत अदल बदल कर चोद रहे थे इसी तरह कई किटी पार्टी में वीडियो दिखा दिखाकर अदला बदली की चुदाई हुई तब बन गया एक बड़ा ग्रुप जिसमे अनेक प्रकार के लंड अनेक प्रकार की चूत और अनेक प्रकार की चूंचियां इकठ्ठा होती थीं
“नैना ने व्हिस्की पीते हुए कहा देखो यार मुझे भी पहली बार ‘ हस्बैंड्स की अदला बदली ‘ पर कुछ झिझक हुई थी, थोडा संकोच हुआ था और सोचने लगी थी कि ये सब कैसे होगा लेकिन उस समय मेरी सहेली वंदना ने बड़े प्यार से मुझे समझाया और फिर मेरे हसबैंड ने भी मुझे आगे बढ़ने के लिए कहा । तब मैंने सबके सामने व्हिस्की पी । थोडा नशा आने पर सब ठीक हो गया । उसके बाद मेरी झिझक दूर हुई और मैं भी वंदना की तरह बातें करने लगी । उसके बाद तो फिर अपने हसबैंड के सामने उसके हसबैंड से चुदवाने का जो मज़ा आया उसे मैं कभी भूल नहीं सकती । वंदना के हसबैंड का लन्ड मेरे लिए गैर मर्दों का पहला लन्ड था जिसे मैं आज भी दिलोजान से चाहती हूँ । उसकी कड़क और उसकी मोटाई आज भी मेरे हाथ को याद है ।
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